मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ पर साधा निशाना, बोले -अपना घर तो देखते नहीं हो, बिकाऊ की बात करते हो
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ पर साधा निशाना, बोले -अपना घर तो देखते नहीं हो, बिकाऊ की बात करते हो

भोपाल। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कांग्रेस नेता व पूर्व सीएम कमलनाथ पर निशाना साधा है. सीएम शिवराज ने कमलनाथ को कहा कि कमलनाथ जी अपना घर तो देखते नहीं हो, भाई अगर आप बिकाऊ की बात करते हो तो बल्लभ भवन में कौन-कौन दलाली खाता था, यह भी तो बता दो शर्म नहीं आती यह कहते हुए।

यह भी तो बता दो शर्म नहीं आती यह कहते हुए, लोगों का सम्मान करना जानते नहीं हो। उन्होंने आगे कहा कि दिल्ली से लेकर भोपाल तक यही कांग्रेस का यही हाल है। उधर राहुल बाबा उजाड़ने में लगे हुए हैं, उन्होंने अच्छी खासी चलती पंजाब की सरकार का कबाड़ा कर दिया और हमें दोष दे रहे हो। छत्तीसगढ़ी वाले गदर मचा रहे दिल्ली में जाकर ढाई साल ढाई साल कर रहे और हमें दोष दे रहे हो।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि ”कमलनाथ को जी 23 से बात करना चाहिए इधर उंगली उठाने से पहले, उन्होंने कहा कि मैंने कभी कमलनाथ को बीमार नहीं कहा भैया वही कह रहे हैं शिवराज जी बीमार है मेरे साथ रेस्ट कर लो भाई। वहीं कमलनाथ ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को रेस लगाने की चुनौती दी थी, जिसको लेकर सीएम ने कहा कि वह कमलनाथ के साथ रेस करने का पाप नहीं कर सकते हैं, मैं उनका कोई दुश्मन नहीं हूं।”

अलीराजपुर में कांग्रेस ने क्या किया?

सीएम शिवराज ने कमलनाथ से सवाल करते हुए कहा कि सुलोचना रावत के बीजेपी में शामिल होने पर कांग्रेस को बड़ी दिक्कत हो रही है, लेकिन वे बताए अलीराजपुर में कांग्रेस ने क्या किया? 15 महीने तक प्रदेश में उनकी सरकार थी, लेकिन उन्होंने अलीराजपुर जिले के लिए कितना काम किया है इसका जवाब देना चाहिए। सीएम ने कहा कि कांग्रेस ने हमेशा आदिवासियों को लेकर भ्रम फैलाया है, लेकिन काम कुछ भी नहीं किया।”

वहीं कांग्रेस की पूर्व विधायक सुलोचना रावत के बीजेपी में शामिल होने पर सीएम ने कहा कि ”अलीराजपुर में सुलोचना रावत और उनके परिवार पर किसी ने कभी उंगली तक नहीं उठाई। इस परिवार का प्रभाव अलीराजपुर में है. उन्होंने आदिवासी क्षेत्र में काम किया है, लेकिन कमलनाथ-दिग्विजय ने साफ-सुधरी छवि वाले लोगों का कभी सम्मान नहीं किया, इसलिए लोग हमसे जुड़ रहे हैं।”

दरअसल, अलीराजपुर जिले की जोबट विधानसभा सीट से विधायक सुलोचना रावत बीजेपी में शामिल हो गई है, माना जा रहा है कि जोबट सीट पर होने वाले उपचुनाव में बीजेपी उन्हें अपना प्रत्याशी बना सकती है।

जोबट सीट पर भिलाला वोटर निर्णायक स्थिति में

जोबट विधानसभा सीट पर उपचुनाव होने हैं। यह सीट आदिवासी बहुल है और यहां 97 फीसदी वोटर आदिवासी हैं। ऐसे में भाजपा इस सीट पर मजबूत उम्मीदवार की तलाश में थी। अब सुलोचना रावत और उनके बेटे के पार्टी में शामिल होने के बाद ऐसा लग रहा है कि भाजपा की यह तलाश खत्म हो गई है। भाजपा जोबट सीट से होने वाले उपचुनाव में मां-बेटे में से किसी एक को अपना उम्मीदवार बना सकती है. सुलोचना रावत भिलाला समुदाय से ताल्लुक रखती हैं और जोबट सीट पर भिलाला वोटर निर्णायक स्थिति में है।

खास बात यह है कि सुलोचना रावत का परिवार राजनीति में जुड़ा रहा है, उनके ससुर भी कांग्रेस से विधायक रहे हैं। ऐसे में इस परिवार का अलीराजपुर जिले की राजनीति में सीधा दखल रहता है।

सुलोचना रावत को पार्टी ने टिकट दिया

सुलोचना रावत साल 1998 में हुए उपचुनाव में पहली बार चुनाव जीती थीं। दरअसल इनके ससुर अजमेर सिंह रावत के निधन के कारण जोबट सीट पर उपचुनाव हुए थे, जिसमें सुलोचना रावत को पार्टी ने टिकट दिया और उन्होंने जीत भी हासिल की।

पहली बार विधायक चुने जाने के बाद दिग्विजय सिंह की सरकार में उन्हें नर्मदा घाटी विकास राज्यमंत्री भी बना दिया गया. हालांकि 2003 के चुनाव में उन्हें माधो सिंह के सामने हार का सामना करना पड़ा। इसके बाद 2008 में रावत फिर से विधायक चुनी गईं। 2013 में सुलोचना रावत के बेटे विशाल रावत को टिकट दिया गया लेकिन वह माधो सिंह के सामने चुनाव हार गए।

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