टीआरपी न्यूज़। दो पहिया वाहन बनाने वाली देश की दूसरी सबसे बड़ी कंपनी होंडा मोटरसाइकिल एंड स्कूटर्स इंडिया (HMSI) ने बुधवार को घोषणा की कि वह अपनी मोटरसाइकिल और स्कूटर इकाई में से कुछ स्थायी कर्मचारियों को स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति देने जा रही है। COVID-19 महामारी के बाद से इसकी बिक्री में गिरावट आई है। कंपनी ने कहा कि वह परिचालन क्षमता में सुधार लाने और दीर्घकालिक व्यापार स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए अपनी उत्पादन रणनीति को फिर से शुरू करने की योजना बना रही है।

कंपनी आर्थिक गिरावट का सामना कर रही

कंपनी ने एक बयान में कहा, “भारतीय ऑटो उद्योग पिछले तीन वर्षों से एक असाधारण चुनौतीपूर्ण दौर से गुजर रहा है। कंपनी लंबे समय से मांग में कमी और कोविड-19 महामारी के चलते आर्थिक गिरावट का सामना कर रही है।”

दो संयत्रों में से एक में ताला लगाने जा रहा

वैश्विक स्तर पर वाहन निर्माता कोरोना महामारी से त्रस्त हैं, भारत में भी कंपनियां 2019 के बाद से धीमी मांग की वजह से प्रभावित हुई हैं। हाल ही में जापानी वाहन निर्माता ने घोषणा की थी कि वह भारत में मांग में कमी के चलते अपने दो संयत्रों में से एक में ताला लगाने जा रहा है। इसके कुछ ही हफ्तों बाद होंडा कंपनी ने यह घोषणा की। भारत में दो कार संयंत्रों में से एक को धीमा करने की मांग के कारण सप्ताह के बाद आएगा। पांच जनवरी को होंडा मोटरसाइकिल्स एंड स्कूटर्स इंडिया (HMSI) ने अपने कर्मचारियों को पत्र के माध्यम से इसकी जानकारी दी।

पत्र में कहा गया था कि यह योजना उन सभी स्थायी कर्मचारियों के लिए खुली है, जिन्होंने 10 साल की सेवा पूरी कर ली है या वे 31 जनवरी 2021 तक 40 वर्ष से अधिक के हैं। इसके मुताबिक सेवा के वर्षों की संख्या के आधार पर एक वरिष्ठ प्रबंधक या वाइस प्रेसीडेंट को 7.2 मिलियन रुपए दिए जाएंगे। हालांकि यह तुरंत स्पष्ट नहीं था कि कितने कर्मचारी सेवानिवृत्त के योग्य होंगे।

पहले 400 लोगों को 500,000 रुपए अतिरिक्त मिलेंगे

पत्र में कहा गया है कि स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लेने वाले पहले 400 लोगों को 500,000 रुपए अतिरिक्त मिलेंगे। यूएस सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज कमीशन के पास फाइलिंग के मुताबिक होंडा मोटरसाइकिल्स एंड स्कूटर्स इंडिया (HMSI) के 31 मार्च 2020 तक भारत के चार संयंत्रों में 7,000 से अधिक कर्मचारी थे।

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