रायपुर। लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की हार की समीक्षा के बाद पार्टी ने कई बड़े निर्णय लिए हैं। जिसके अनुसार अब राजीव भवन में हर दिन सोमवार से लेकर शनिवार तक कोई न कोई मंत्री तीन घंटे के लिए बैठेगा।

माना जा रहा है कि इस फैसले के पीछे कार्यकर्ताओं से सीधे जुड़े रहना है। कांग्रेस भवन में मंत्रियों के बैठने से कार्यकर्ता की सीधी पहुंच सरकार तक रहेगी। जिससे उनकी सभी तरह की समस्याओं का आसानी से निराकरण हो पाएगा।

तो वहीं कांग्रेस के किसी भी विधायक को निगम-मंडलों की जिम्मेदारी नहीं मिलेगी। ये जानकारी प्रदेश कांग्रेस प्रभारी पीएल पुनिया ने दी। उन्होंने कहा कि ऐसा पार्टी के अंदर समन्वय बनाने के लिए किया गया है।

ये जिम्मेदारियां पार्टी के कर्मठ कार्यकर्ताओं को दी जाएंगी। कुल मिलाकर पीएल पुनिया के इस बयान से एक बात तो साफ है कि अब कांग्रेस में पिछले दरवाजे से किसी की भी एंट्री ऐसे पदों के लिए नहीं हो पाएगी।

बूथ स्तर पर अनुभवी लोगों को मौका:

इसके साथ ही बूथ स्तर पर अनुभवी लोगों को ही मौका दिये जाने का निर्णय लिया गया है। पार्टी अब ऐसे लोगों को बूथ की जिम्मेदारी देगी जिन्होंने चुनाव में काम किया है। इससे बूथ स्तर पर पार्टी को और भी ज्यादा मजबूती मिलेगी।

घर वापसी पर भी विचार:

वहीं बाहर से आए नेताओं को लेकर भी मंथन हुआ, जिसमें दूसरी पार्टी को छोड़कर घर वापसी करने वाले नेताओं को अब बड़ी जिम्मेदारियां सौंपे जाने का निर्णय लिया गया है। इसके साथ ही पार्टी अब भीतरघातियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करेगी।

बैठक में हार के पीछे पार्टी में छिपे भीतरघातियों को भी वजह माना गया था जिन्होंने चुनाव में प्राटी के प्रत्याशियों के खिलाफ भीतरघात करने का काम किया। ऐसे सभी लोगों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई किये जाने की मांग पूरे जोर शोर से उठी थी ताकि भविष्य में कोई भी पार्टी के खिलाफ काम करने की न सोचे। इन्हीं सारी बातों पर बैठक में विचार-विमर्श हुआ।

 

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