रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Chief Minister Bhupesh Baghel) आज प्रदेश के मुखिया की कमान संभाल रहे हैं, लेकिन इससे पहले विपक्ष में पीसीसी चीफ की कमान संभालने के दौरान भूपेश बघेल ने जिस अडानी की कंपनी के कोल ब्लॉक एमडीओ का विरोध किया था। दिलचस्प बात ये है कि आज उन्हीं के सरकार के वन विभाग ने गिधमुड़ी पतुरिया कोल ब्लॉक खनन पर अपनी मुहर लगा दी है। चीफ वाइल्ड लाइफ कार्यालय ने खनन के लिए हरी झंडी देते हुए इसे भू प्रबंधन को सहमति के लिए भेज दिया है।

कोरबा ज़िले में स्थित गिधमुड़ी और पतुरिया डांड कोयला खदान को छत्तीसगढ़ स्टेट पॉवर जनरेशन कंपनी को आवंटित किया गया है। कांग्रेस सरकार (Congress Government) ने निविदा के बाद एमडीओ के आधार पर ही इसे अडानी कंपनी को दिया है।

गिधमुड़ी पतुरिया कोल ब्लॉक 1751.92 हेक्टेयर में फैला हुआ है

बता दें कि गिधमुड़ी पतुरिया कोल ब्लॉक 1751.92 हेक्टेयर में फैला हुआ है। इसमें 1463.693 हेक्टेयर भूमि वन से आच्छादित है। इस इलाके में बरसों से हाथी विचरण करते रहे हैं। लेकिन पिछले साल रमन सरकार के कार्यकाल के दौरान 17 मार्च को कटघोरा के वन मंडलाधिकारी ने अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी करते हुए कहा था कि यह इलाका न तो राष्ट्रीय उद्यान, न अभ्यारण्य और न ही प्रस्तावित हाथी कॉरीडोर का भाग है या फिर प्रस्तावित है।

यहां गौर करने वाली बात ये है कि एक ओर वनमंडलाधिकारी अनापत्ति प्रमाण पत्र में इस तरह की बाते करते हैं, वहीँ दूसरी ओर इस क्षेत्र में हाथियों की वजह से होने वाले जान-मान के नुकसान पर राज्य सरकार पीड़ित परिवारों को मुआवजा देते आ रही थी।

हसदेव अरण्य क्षेत्र का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा

वर्तमान सीएम भूपेश बघेल (Chief Minister Bhupesh Baghel) जब विपक्ष में थे औऱ उनके हाथ में पीसीसी की कमान थी, उस दौरान उन्होंने दावा किया था गिधमुड़ी और पतुरिया कोल ब्लॉक शुरु होने से हसदेव अरण्य क्षेत्र का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा। उन्होंने तत्कालीन रमन सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा था कि पतुरिया गिधमुड़ी कोल ब्लॉक भैया थान पॉवर प्रोजेक्ट के लिए आबंटित किया गया है।

भूपेश बघेल ने उठाये थे सवाल

यह पॉवर प्रोजेक्ट इंडिया बुल्स के साथ मिलकर छत्तीसगढ़ सरकार को बनाना था। लेकिन यह परियोजना शुरू ही नहीं हो सकी और इंडिया बुल्स वापस चली गई। उन्होंने परियोजना पर सवाल उठाते हुए कहा था कि जब परियोजना ही नहीं है तो फिर कोयला क्यों निकाला जाएगा? भूपेश बघेल ने कहा था कि पतुरिया गिधमुड़ी कोल ब्लॉक हसदेव नदी के कैचमेंट एरिया में आता है। अगर यह कोल ब्लॉक शुरू हो गया तो हसदेव का अस्तित्व ही खतरे में पड़ जाएगा।

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