रायपुर। छत्तीसगढ़ में कोरोना वायरस (कोविड-19) के संक्रमण को देखते हुए सुरक्षा के मद्देनजर प्रदेश के आंगनबाड़ी केन्द्रों को भी बंद रखा गया है। मगर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देश पर लॉकडाउन के दौरान प्रदेश के 6 माह से 6 साल तक के बच्चों, गर्भवती व शिशुवती माताओं तथा किशोरी बालिकाओं को पूरक पोषण आहार की नियमित रूप से उपलब्धता सुनिश्चित की जा रही है।

महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के माध्यम से रेडी-टू-ईट फूड घर-घर जाकर हितग्राहियों को प्रदान किया जा रहा है। आपको बता दें कि कोरोना वायरस के कुप्रभाव से बचाने के लिए प्रदेश की आंगनबाड़ी केन्द्रों को आगामी 14 अप्रैल तक बंद कर दिया गया है। आंगनबाड़ी केन्द्र बंद रहने की अवधि में 6 माह से 6 साल तक बच्चों, गर्भवती और शिशुवती माताओं तथा किशोरी बालिकाओं को पूरक पोषण आहार रेडी-टू-ईट आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा उनके घर जाकर प्रदान किया जा रहा है।

लॉकडाउन में भी है छत्तीसगढ़ सरकार को बच्चों,गर्भवती व शिशुवती माताओं के पोषण का पूरा ख्याल

24 लाख से अधिक हितग्राहियों को आंगनबाड़ी के माध्यम से पूरक पोषण आहार वितरण डोर टू डोर जाकर किया जा रहा है। आंगनबाड़ी कार्यक्रर्ताओं को पर्याप्त मात्रा में रेडी-टू-ईट फूड के पैकेट उपलब्ध कराए गए है। ये रेडी-टू-ईट फूड चयनित महिला स्व सहायता समूहों द्वारा तैयार किया जा रहा है।

स्वच्छता का रखा जा रहा है ध्यान

महिला समूह द्वारा इनके निर्माण में पूरी गुणवत्ता और स्वच्छता का ख्याल रखा जा रहा है। इसलिए इसके वितरण में कोई समस्या नही है। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा रेडी-टू-ईट फूड पैकेटों के वितरण के दौरान भी पूरी तरह स्वच्छता और सावधानी रखी जा रही है। सोशल डिस्टेंस को भी देखा जा रहा है। वर्तमान में 1 लाख कर्मचारी प्रदेश इस कठिन घड़ी में बच्चों, गर्भवती व शिशुवती माताओं तथा किशोरी बालिकाओं को पूरक पोषण आहार का ध्यान रख रहे हैं।

मुख्यमंत्री स्वयं कर रहे हैं मॉनिटरिंग

इस विषम परिस्थिती में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल स्वयं इस व्यवस्था की मॉनिटरिंग कर रहे हैंष उनके निर्देश पर ही महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा ऐसी व्यवस्था सुनिश्चित की गई है कि आंगनबाड़ी केन्द्र बंद होने के बावजूद बच्चों, गर्भवती व शिशुवती माताओं और किशोरी बालिकाओं के पोषण स्तर में कोई विपरीत प्रभाव नही पड़ेगा। पूरक पोषण आहार के लिए राज्य सरकार द्वारा विभाग को पर्याप्त बजट भी उपलब्ध कराया गया है।

Chhattisgarh से जुड़ी Hindi News के अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें 

Facebook पर Like करें, Twitter पर Follow करें  और Youtube  पर हमें subscribe करें।