नई दिल्ली। देशभर में बढ़ते कोरोना वायरस को देखते हुए सीमा शुल्क बोर्ड (CBIC) ने अपने सभी फील्ड अधिकारियों को निर्देश दिया है कि जीवन रक्षक दवाओं और ऑक्सीजन उपकरणों सहित कोरोना के उपचार में इस्तेमाल होने वाली सभी आयातित खेपों का सर्वोच्च प्राथमिकता के आधार पर निपटान किया जाए।

वित्त मंत्रालय के तहत आने वाले सीबीआइसी के इस आदेश का मकसद यह है कि कोरोना संक्रमण से जूझ रहे मरीजों तक राहत उपकरण कम से कम समय में पहुंच जाएं। कोरोना संक्रमण के मामलों के तेजी से बढ़ने के कारण जीवन रक्षक दवाओं और अन्य उपकरणों की भारी किल्लत हो गई है।
बोर्ड ने ट्वीट कर कहा कि उसने अपने सभी फील्ड अधिकारियों को सर्वोच्च प्राथमिकता के साथ इन खेपों का निपटान करने के निर्देश दिए हैं। सीबीआइसी ने अधिकारियों से कहा है कि कोरोना संक्रमण के मामलों में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। ऐसे में यह बेहद जरूरी है कि कोरोना के उपचार के लिए आयातित वस्तुओं व उपकरणों को कस्टम क्लीयरेंस प्राथमिकता के आधार पर दिया जाए। वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल ने भी एक ट्वीट में कहा कि कोरोना से लड़ने का एक कदम यह भी होगा कि इस महामारी से संबंधित संवेदनशील उपकरण जल्द से जल्द अपने गंतव्य तक पहुंच जाएं।
देश में एक दिन में कोरोना संक्रमण के 3,46,786 नए मामले सामने आने के साथ संक्रमण के कुल मामले बढ़कर 1,66,10,481 पर पहुंच गए। उपचाराधीन मरीजों की संख्या 25 लाख से अधिक हो गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने शनिवार को सुबह आठ बजे जारी आंकड़ों में यह जानकारी दी। इन आंकड़ों के मुताबिक एक दिन में 2,624 संक्रमितों की मौत होने से मृतकों की संख्या बढ़कर 1,89,544 हो गई है।
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