कोरबा। साउथ इस्टर्न कोलफिल्ड्स लिमिटेड (एसईसीएल) की दीपका परियोजना में कोयला लोडिंग बना हुआ है। इसका मेंटेंनेस व अन्य कार्य एसईसीएल द्वारा आंध्रप्रदेश की एक निजी कंपनी को सौंपा गया है। कोयला लोडिंग के लिए बने साइलो के मेंटेनेंस कार्य में लगे कर्मियों को नई ठेका कंपनी ने काम से निकाल दिया था। जिसके बाद पुन: काम पर रखे जाने की मांग को लेकर प्रभावितों ने रविवार को काम बंद करा दिया। मांग पूरी नहीं होने पर काफी संख्या में प्रभावित साइलो पहुंच गए और काम बंद करा धरने में बैठ गए।

आंदोलन की दी थी चेतावनी
कंपनी ने एक दिसंबर से काम शुरू किया। इसके पहले कंपनी पुराने मजदूरों को काम से निकाल दिया। जिसके बाद मजदूरों में नाराजगी बढ गई। उर्जाधानी भू-विस्थापित संगठन के साथ इन मजदूरों ने प्रबंधन को पत्र देकर पुन: काम पर नहीं रखे जाने पर आंदोलन की चेतावनी दी थी।
बड़ी संख्या में मजदूर व ग्रामीण धरने में बैठे
विगत दिनों नागार्जुन कंपनी के मैनेजर वेंकटेश राव के साथ संगठन की त्रिपत्रीय वार्ता हुई थी। इस वार्ता में कोई नतीजा नहीं निकल सका, तब संगठन ने आंदोलन करने की चेतावनी देते हुए कहा कि रविवार से साइलो का काम बंद कराने की घोषणा की। रहे। इस मौके पर प्रकाश कोर्राम, ललित महिलांगे, राहुल जायसवाल, अर्जुन वस्त्रकार, अजय यादव, रजनीश मरावी, भागीरथी यादव, पवन यादव, बसंत कश्यप समेत सभी मजदूर व काफी संख्या में ग्रामीण उपस्थित है।
इन प्रमुख मांगों के लिए दे रहे धरना
- पुराना वर्करों को काम पर पुनः बहाल करने।
- एचटीसी के तहत उचित वेतन एवं वेतन पर्ची देने।
- काम को कंपनी खुद चलाएं पेटी ठेकेदार को ना देने।
- सेफ्टी एवं मेडिकल सुविधा पूरे परिवार के लिए देने।
- हर सप्ताह में सेफ्टी की बदली करने।
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