57th meeting of KTU Executive Council - हंगामेदार बैठक में सुरक्षा एजेंसी को लेकर उठे सवाल
57th meeting of KTU Executive Council - हंगामेदार बैठक में सुरक्षा एजेंसी को लेकर उठे सवाल

विशेष संवादाता, रायपुर

अपने स्थापना काल से ही विवादों में रहे कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता विश्वविद्यालय कार्यपरिषद की 57 वीं बैठक पुलिस प्रशासन की तगड़ी सुरक्षा के बीच संपन्न हुई। बैठक के दौरान कई ऐसे मामले उठे जिन पर विवाद की स्थिति निर्मित हुई। बैठक में शामिल पत्रकार राजकुमार सोनी और आवेश तिवारी ने विश्वविद्यालय में अध्ययनरत छात्रों से प्राप्त शिकायतों के आधार पर वहां तैनात की गई सुरक्षा एजेंसी की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाया। सदस्यों ने कहा कि वहां तैनात सुरक्षाकर्मी न तो हास्टल में ड्यूटी करते हुए नज़र आते हैं और न ही किसी जगह पर।

सुरक्षा एजेंसी से जुड़े गार्ड वहां अध्ययनरत विद्यार्थियों से बदतमीजी से पेश आते हैं। कई बार शराब के नशे में धुत्त रहते हैं। सदस्यों ने कहा कि उन्होंने विश्वविद्यालय में तैनात प्रत्येक गार्ड का ड्यूटी चार्ट, आधार कार्ड और परिचय पत्र मांगा था जिसे अब तक नहीं दिया गया है। सदस्यों ने कहा कि सुरक्षा एजेंसी को छह माह का एक्टेंशन दिए जाने के बावजूद वे सतत निगरानी रखेंगे। यदि इस बीच गंभीर शिकायतें आई तो कार्य परिषद की आपात बैठक में एजेंसी को कार्यमुक्त करने की मांग की जाएगी।

57th meeting of KTU Executive Council - हंगामेदार बैठक में सुरक्षा एजेंसी को लेकर उठे सवाल
57th meeting of KTU Executive Council – हंगामेदार बैठक में सुरक्षा एजेंसी को लेकर उठे सवाल

कार्य परिषद के सदस्य राजकुमार सोनी और आवेश तिवारी ने अंबिकापुर के एक निजी महाविद्यालय को नवीन पाठ्यक्रम चलाने के लिए अस्थाई सम्बद्धता दिए जाने पर सवाल उठाया। सदस्यों ने कहा कि बिना निरीक्षण के किसी भी कालेज या परीक्षा सेंटर को मान्यता नहीं दी जानी चाहिए। इस पर सदस्यों को वहां जांच के लिए भेजे जाने पर सहमति बनी। बैठक में ग्रामीण विधायक सत्यनारायण शर्मा ने कहा कि उन्होंने विश्वविद्यालय को चिठ्ठी लिखकर पीएचडी से संबंधित जानकारी मांगी थीं, लेकिन इसका जवाब अमर्यादित भाषा में दिया गया है।

उन्होंने प्रोफेसर शाहिद अली के जवाब पर जमकर नाराजगी जाहिर की। बैठक में अनियमित कर्मचारियों की भर्ती प्लेसमेंट एजेंसी से कराए जाने के मसले पर भी विवाद हुआ। बैठक में अतिथि प्राध्यापकों के मानदेय में बढ़ोतरी कर दी गई है। पहले प्राध्यापकों को एक पीरियड का मात्र दो सौ रुपए दिया जाता था अब उन्हें तीन सौ रुपया प्रदान किया जाएगा। कार्यपरिषद की अगली बैठक अब तीन माह बाद होगी। बैठक में वरिष्ठ विधायक बृजमोहन अग्रवाल, कुलपति बल्देव भाई शर्मा, कुल सचिव आनंद बहादुर सहित उच्च शिक्षा विभाग और वित्त विभाग के अफसर मौजूद थे।