नेशनल डेस्क। चंद्रमा पर बुधवार को सूर्योदय हो गया। अब भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संस्थान (ISRO) को उस पल का इंतजार है जब सूर्य की किरणें सही तरह से चंद्रयान-3 के विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर पर पड़ेंगी। वैज्ञानिकों को पूरी उम्मीद है कि लैंडर और रोवर एक बार फिर काम करना शुरू करेंगे। चंद्रयान-3 पर स्पेस एप्लीकेशन सेंटर के निदेशक नीलेश देसाई ने जानकारी दी है कि पहले हमारी योजना थी कि 22 सितंबर शाम तक (प्रज्ञान) रोवर और (विक्रम) लैंडर को फिर से सक्रिय करें। लेकिन कुछ कारणों से अब हम ये 23 सितंबर को करेंगे। लैंडर और रोवर को स्लीप मोड से निकालने फिर से सक्रिय करने की योजना है।

आपको बता दें कि मिशन मून के चंद्रयान-3 के विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर को 3 सितंबर को स्लीप मोड में डाल दिया था। तब चंद्रमा पर सूर्यास्त हुआ था। अब एक बार फिर सूर्योदय हुआ है। चंद्रमा पर धरती के 14 रात-दिन के बराबर एक रात-दिन होता है।

ISRO ने कहा, अभी बस इंतजार

इसरो के चेयरमैन एस सोमनाथ ने बताया, “अगर कोई तरीका होता, तो हम जान सकते कि लैंडर और रोवर जाग गए हैं या नहीं, यह आसान होता, लेकिन अभी तो हमें इंतजार करना होगा और देखना होगा कि सूर्योदय के बाद सिस्टम कैसा व्यवहार करता है।”

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