बस्तर। नक्सलियों ने अपनी सक्रियता एक बार फिर तेज कर दी है। इन दिनों नक्सली अपने प्रभाव वाले जिलों के वनांचल ग्रामीण इलाकों में पोस्टर और पंपलेट लगाते हुए तरह-तरह की अपील कर रहे हैं। इनकी सक्रियता बढ़ाने की वजह यह है कि नक्सलियों का पीएलजीए सप्ताह आने वाले 2 दिसम्बर से शुरू होने वाला है जिसके कारण नक्सली गांव-गांव जाकर पीएलजीए सप्ताह को मनाने की अपील कर रहे हैं।

अपनी मौजूदगी दर्ज करा रहे हैं नक्सली

छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा, बीजापुर, नारायणपुर जैसे इलाकों में नक्सलियों ने पीएलजीए सप्ताह मनाने को लेकर पर्चा फेंकते हुए छुटपुट घटनाओं से अपनी मौजूदगी का एहसास फिर दिलाया है और इस सप्ताह को मनाने की अपील की है इसके साथ ही छत्तीसगढ़ का कबीरधाम जिला जहां नक्सली शांत बैठ गए थे वहां भी उन्होंने अचानक अपनी मौजूदगी दर्ज कराई है। नक्सलियों ने जिले के वनांचल ग्राम समनापुर इलाके में एमएमसी जोनल कमेटी के नाम से पंपलेट लगाया है। इसके अलावा नक्सलियों ने नारायणपुर और बारसुर के बीच हर्राकोडर गांव में जिओ टावर को आग के हवाले करते हुए पीएलजीए सप्ताह मनाने के लिए परचा फेंका हैं। यह घटना नक्सलियों की पूर्व बस्तर डिवीजन कमेटी के द्वारा की गई है। लगातार इस तरह की घटनाओं के बाद नक्सली इलाकों की पुलिस सक्रिय हो गई है और जवानों का मूवमेंट ज्यादा से ज्यादा अंदरूनी इलाकों के गांव की तरफ बढ़ गया है।

इसलिए मनाते हैं पीएलजीए सप्ताह

पीएलजीए सप्ताह को नक्सली शहीद दिवस के रूप में मनाते हैं। पीएलजीए का पूरा मतलब पीपुल्स लिबरेशन गोरिल्ला आर्मी है। ऐसा माना जाता है कि इस संगठन में जो नक्सली शामिल होते हैं वह बेहद ही माहिर और अत्याधुनिक हथियारों से लैस रहते हैं। इन नक्सलियों के पास कई बड़ी घटनाओं की जानकारी होती है और घटनाओं को अंजाम तक पहुंचने के लिए इस संगठन के सदस्यों को तैयार किया जाता है। पीएलजीए सप्ताह नक्सली अपने संगठन के सदस्यों को याद करते हुए हर साल 2 दिसंबर से 8 दिसंबर तक एक सप्ताह शहीद दिवस के रूप में मनाते हैं इस सप्ताह के दौरान नक्सली एक साथ इकट्ठा होकर पूरे साल का लेखा जोखा और आने वाले साल में किस तरह से प्लानिंग की जाएगी उसकी तैयारी करते हैं।

पुलिस फोर्स अलर्ट, अंदरूनी इलाकों में सर्चिंग जारी

PLGA सप्ताह से पहले बस्तर में नक्सली अलग-अलग जिलों में आगजनी, हत्या जैसी वारदातों को अंजाम दे रहे हैं। इसके मद्देनजर पुलिस फोर्स भी अलर्ट है। जवान अंदरूनी इलाकों में लगातार घुसकर सर्चिंग कर रहे हैं।

बीते साल 132 नक्सली हुए थे ढेर

साल 2022 में नक्सलियों ने PLGA सप्ताह के ठीक पहले आकंड़े जारी किए थे। नक्सलियों के सेंट्रल कमेटी के नेता अभय ने बताया था कि, दिसंबर 2021 से नवंबर 2022 तक 1 साल में देश भर में उनके 132 लाल लड़ाके मारे गए हैं। वहीं करीब 31 जवानों को शहीद और 154 जवानों को घायल किया है। इसके अलावा पुलिस की मुखबिरी करने वाले 69 लोगों की हत्या की है।