बिलासपुर। छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट ने महिला एवं बाल विकास विभाग के सुपरवाइजर पद पर नियुक्ति से वंचित अभ्यर्थी की याचिका पर सुनवाई करते हुए शासन को निर्देश दिया है कि वह विशेषज्ञों की समिति बनाकर मॉडल आंसर का दोबारा परीक्षण कराए।

सही उत्तर को गलत बताने का दावा
सुपरवाइजर के 440 रिक्त पदों पर व्यावसायिक परीक्षा मंडल की ओर से 5 जुलाई 2023 को भर्ती विज्ञापन निकाला गया था। 27 अगस्त 2023 को परीक्षा हुई थी और 12 सितंबर 2023 को मॉडल आंसर जारी कर ऑनलाइन आपत्ति मांगी गई थी। 20 सितंबर 2023 को परिणाम घोषित किया गया। इसके बाद चकरभाटा की सृष्टि शर्मा ने बी सेट के प्रश्न क्रमांक 85 पर आपत्ति दर्ज कराई थी। मगर इसे व्यापमं ने स्वीकार नहीं किया। अभ्यर्थी ने इसे लेकर हाईकोर्ट में याचिका दायर की और कहा कि उसने उक्त प्रश्न का सही उत्तर दिया था लेकिन मॉडल आंसर के अनुसार उसमें उसे माइनस मार्क दे दिया गया। यदि उसके उत्तर को सही मानकर प्राप्तांक दिया जाता तो उसका अनारक्षित वर्ग में चयन हो जाता।
इस मामले में हाई कोर्ट की डबल बेंच ने याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य शासन और व्यावसायिक परीक्षा मंडल को आदेश दिया है कि विशेषज्ञों की समिति बनाकर उक्त प्रश्न के सही उत्तर का परीक्षण करे और यदि अभ्यर्थी का दावा सही पाया जाता है तो उसे अवसर दिया जाए।