रायपुर। विश्व कार्टूनिस्ट दिवस के मौके पर प्रसिद्ध कार्टूनिस्ट सागर कुमार को टीआरपी (TRP) द्वारा विशेष सम्मान से नवाजा गया। यह सम्मान न केवल उनके रचनात्मक योगदान को पहचान देने का प्रयास था, बल्कि भारतीय कार्टूनिंग को वैश्विक पटल पर प्रतिष्ठा दिलाने के उनके निरंतर प्रयासों का भी उत्सव था।

सागर कुमार पिछले लगभग 29 वर्षों से कार्टून की दुनिया में सक्रिय हैं और उन्होंने इस क्षेत्र में विविध प्रयोग करते हुए भारत का नाम अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोशन किया है। उन्होंने जापान, ब्राज़ील, साउथ अफ्रीका और अमेरिका जैसे देशों में अपने “कार्टूनी पंखों” से भारतीय कला और सोच को प्रस्तुत किया है।

उनकी उपलब्धियों की सूची लंबी है। अमेरिका की प्रतिष्ठित यूनिवर्सिटी ऑफ पेंसिलवेनिया से उन्हें कार्टून पर रिसर्च के लिए फुलब्राइट फेलोशिप मिली। इसके अलावा ब्राज़ील और दक्षिण अफ्रीका में आयोजित माइक्रोसॉफ्ट इनोवेटिव फोरम में उन्होंने भारत का प्रतिनिधित्व करते हुए 178 देशों के प्रतिभागियों के बीच टॉप 10 में जगह बनाई और देश को गौरवान्वित किया।

पत्रकारिता जगत में योगदान के लिए उन्हें दो बार राष्ट्रपति द्वारा राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है। पत्रकारिता में गोल्डमेडलिस्ट होने के साथ-साथ सागर कुमार ने शिक्षा के क्षेत्र में भी कार्टून को एक प्रभावशाली लर्निंग टूल के रूप में विकसित किया है।

उनकी इनोवेटिव अप्रोच को देश के कई प्रमुख संस्थानों में प्रस्तुत किया गया है, जिनमें आईआईटी पटना, बिरला एजुकेशन ट्रस्ट पिलानी, एनसीईआरटी, उत्तर प्रदेश, असम और जम्मू-कश्मीर सरकारें शामिल हैं। उनके वर्कशॉप्स में कार्टूनिंग को सिर्फ मनोरंजन नहीं, बल्कि शिक्षा, अभिव्यक्ति और नवाचार के मजबूत माध्यम के रूप में देखा गया।