रायपुर। महापौर मीनल चौबे आज बूढ़ा तालाब में हो रहे चौपाटी निर्माण कार्य का निरीक्षण करने पहुंचीं। इस दौरान उन्होंने पर्यटन विभाग द्वारा कराये जा रहे इन कार्यों को लेकर विरोध जताया। इस मौके पर नगर निगम कमिश्नर विश्वदीप, एमआईसी मेंबर मनोज वर्मा और वार्ड पार्षद मुरली शर्मा भी उपस्थित रहे।

टूरिज्म बोर्ड के अधीन है बूढ़ा तालाब

बता दें कि रायपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड ने बूढ़ा तालाब को टूरिज्म बोर्ड को हस्तांतरित कर दिया है, जिसके तहत एजेंसी के माध्यम से वहां चौपाटी का निर्माण किया जा रहा है। इस निर्माण के दौरान पाथवे को तोड़ दिया गया है, वहीं पार्किंग की कोई व्यवस्था भी नहीं की गई है। स्थानीय लोगों का आरोप है कि एजेंसी तालाब को पूरी तरह खत्म कर इसे सिर्फ व्यावसायिक लाभ का केंद्र बना रही है।

सबसे अधिक विरोध इस बात को लेकर हो रहा है कि टूरिज्म बोर्ड और एजेंसी के बीच हुए समझौते में चौपाटी में शराब बिक्री की अनुमति की भी चर्चा है। विरोध करने वालों का कहना है कि यह न केवल तालाब की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्ता को नुकसान पहुंचाएगा, बल्कि आसपास के शैक्षणिक संस्थानों पर भी इसका प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा।

महापौर मीनल चौबे ने इस मुद्दे पर कड़ा रुख अपनाते हुए कहा, “पर्यटन विभाग का उद्देश्य शहर की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक धरोहरों का संरक्षण करना होता हैं, न कि उनका व्यवसायीकरण कर मुनाफा कमाना। एजेंसी के द्वारा विभाग के अधिकारियों की आंखों में धूल झोंक कर मनमानी किये जाने की आशंका है। बूढ़ा तालाब के पास शहर का सबसे पुराना स्कूल, दानी गर्ल्स स्कूल स्थित है, जिसका मुख्य मार्ग चौपाटी के समीप से गुजरता है। ऐसे में यदि चौपाटी में शराब बिक्री की अनुमति दी जाती है, तो छात्राओं की सुरक्षा और शिक्षा के माहौल पर नकारात्मक असर पड़ सकता है।

मीनल चौबे ने कहा कि रायपुर शहर हमारा है। दानी स्कूल शहर की बेटियों का पुरातन स्कूल है, जहां अच्छी शिक्षा और संस्कार दिये जाते है। इस स्कूल में उन्होंने भी पढ़ाई की है। उन्होंने कहा कि पर्यटन विभाग इस योजना की पुनर्समीक्षा करें, और बूढ़ा तालाब की पारंपरिक और ऐतिहासिक पहचान को संरक्षित रखा जाए।