बिलासपुर। छत्तीसगढ़ बिलासपुर रेल मंडल (Bilaspur Railway Division) ने ट्रेनों में स्कॉटिंग ड्यूटी कर रहे जवानों को उनकी चूक के कारण वेतन काटने की सजा सुनाई हैं। बिलासपुर रेल मंडल (Bilaspur Railway Division) में पदस्थ सुरक्षा बल (RPF) के जवानों को चोरों व लूटेरों की करतूत की सजा मिली है।

कार्यवाही की वजह पिछले 6 महीनों में हुई वारदात

सजा के तौर पर 50 से ज्यादा जवानों का वेतन काट दिया गया है। ट्रेनों व रेलवे स्टेशन परिसर में पर्स चोरी, चेन स्नेचिंग, बैग चोरी या अन्य वारदातों की शिकायत दर्ज किए जाने के बाद ये कार्रवाई की गई है। पिछले छह महीनों में हुई वारदातों को इसके पीछे आधार बताया गया है। वारदात की प्रवृत्ति के आधार पर वेतन कटौती का प्रावधान किया गया है।

जवान गश्त के दौरान चुस्त, दुरुस्त और चौकन्ने रहें

बिलासपुर रेल मंडल (Bilaspur Railway Division) में पदस्थ रेलवे सुरक्षा बल आरपीएफ (RPF) के एक अधिकारी के अनुसार यह कार्यवाही सांकेतिक सजा के तौर पर की गई है, ताकि ड्यूटी के प्रति जवान सजग रहें। ड्यूटी के दौरान उसके कार्यक्षेत्र में हुई वारदात के आधार पर किसी का एक तो किसी का एक दिन से अधिक का वेतन काटा गया है। अधिकारी ने बताया कि जवानों को गश्त के दौरान चुस्त, दुरुस्त और चौकन्ना रखने के लिए इस तरह की कवायद की जा रही है।

जांच में जवान दोषी नहीं, तो कार्यवाही नहीं

आरपीएफ (RPF) के अधिकारी ने बताया कि रेलवे प्लेटफार्म (Railway platform) पर या ट्रेन में जिनकी ड्यूटी है वे चौकन्ने रहें इसलिए वेतन काटने का प्रावधान किया गया है। अप्रैल 2019 से अब तक 50 से अधिक जवानों के वेतन में कटौती की गई है। ऐसे जवानों को कार्रवाई के खिलाफ अपील करने का मौका दिया जाता है। अपील पर फिर से जांच की जाती है। यदि जांच में जवान को दोषी नहीं पाया जाता है तो कार्रवाई का आदेश वापस ले लिया जाता है।

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