टोकियो/नई दिल्ली। भारत-चीन के साथ सीमा विवाद और हालिया घटनाक्रम से दोनों देशों में तनाव गहराता जा रहा है। लद्दाख सीमा पर युद्ध जैसे हालात बन रहे हैं। इस बीच भारत के लिए एक अच्छी खबर सामने आई है। दरअसल, अपने विस्तारवादी नीति के कारण पड़ोसी देशों के साथ चीन के रिश्ते खराब होते जा रहे हैं और एशिया में घिरता जा रहा है।

लद्दाख सीमा पर उपजे विवाद के बाद भारत-चीन के बीच तनाव चरम पर है, दूसरी तरफ पूर्वी चीन सागर में द्वीपों को लेकर भी चीन और जापान के बीच विवाद चल रहा है। ऐसे में चीन के इस विस्तारवादी नीति के खिलाफ भारत-जापान साथ-साथ आ गए हैं। दोनों देशों की नौसेना ने हिंद महासागर में चीन के बढ़ते खतरों से निपटने के लिए संयुक्त युद्धाभ्यास किया है।

इस बाबत जापान की नौसेना ने ट्वीट करते हुए बताया है कि 27 जून को जापान मैरिटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स के JS KASHIMA और JS SHIMAYUKI ने भारतीय नौसेना के INS राणा और INS कुलीश के साथ हिंद महासागर में एक अभ्यास किया। युद्धाभ्यास के जरिए भारतीय नौसेना के साथ मिलकर जापान मैरिटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स ने अपने समझ और सहयोग को बढ़ाया है।


बता दें कि पूर्वी चीन सागर में स्थित द्वीपों को लेकर दोनों देशों में विवाद है। चीन और जापान इन निर्जन द्वीपों पर अपना दावा करते हैं। इन द्वीपों को जापान में सेनकाकु और चीन में डियाओस के नाम से जाना जाता है। 1972 से इन द्वीपों का प्रशासन जापान के हाथों में है।

जापानी युद्धपोत ने चीनी पनडुब्बी को खदेड़ा

इससे पहले हाल ही में जापानी युद्धपोत ने एक चीनी पनडुब्बी को खदेड़ दिया था। कुछ दिन पहले दक्षिणी जापान में ओकिनावा द्वीप के पास 24 समुद्री मील के भीतर जापानी विध्वंसक युद्धपोत कागा ने एक चीनी पनडुब्बी का पता लगाया था। इसके बाद हरकत में आई जापानी नौसेना ने अपने पेट्रोलिंग एयरक्राफ्ट की मदद से चीनी पनडुब्बी को अपने जलक्षेत्र से बाहर खदेड़ दिया। इससे पहले 2018 में भी जापान ने अपनी जलसीमा में एक चीनी पनडुब्बी को पकड़ा था।