टीआरपी डेस्क। भारत में कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण के बीच कोविशील्ड और कोवैक्सीन के बाद अब एक और वैक्सीन स्पूतनिक-वी (Sputnik-V) भी अगले सप्ताह से मार्केट में उपलब्ध होगी। डॉ रेड्डीज लेबोरेटरीज ने भारतीय बाजार में वैक्सीन की कीमतों की घोषणा कर दी है। रूसी वैक्सीन स्पूतनिक-वी की एक खुराक की कीमत 995.40 रुपए होगी। हालांकि जब भारत में जब स्पूतनिक-वी वैक्सीन का निर्माण शुरू होगा, तब उसकी कीमत कम होगी।

भारत में कोरोना वायरस की तीसरी वैक्सीन अगले हफ्ते उपलब्ध हो जाएगी। रूस में बनी Sputnik V की पहली खेप (डेढ़ लाख डोज) 1 मई को भारत पहुंच चुकी थी। दूसरी खेप भी आज या कल में पहुंच जाएगी। रशियन डायरेक्ट इनवेस्टमेंट फंड (RDIF) ने भारत में इस वैक्सीन को उपलब्ध कराने के लिए डॉ रेड्डीज लैबोरेटरीज से हाथ मिलाया है। स्पूतनिक वी टीके को दुनियाभर के 50 से ज्यादा देश अप्रूवल दे चुके हैं। हालांकि भारत में आगमन के बीच, मशहूर साइंटिफिक जर्नल ‘द लैंसेट’ के ऑनलाइन एडिशन में स्पूतनिक वी के ट्रायल डेटा को लेकर सवाल उठाए गए हैं।
91.6% एफेकसी का दावा करती है स्पूतनिक वी
‘स्पूतनिक वी’ वैक्सीन बनाने वालों के अनुसार, उनकी वैक्सीन की एफेकसी 91.6 प्रतिशत है। ‘द लैंसेट’ में छपे डेटा के अनुसार, यह वैक्सीन कोविड-19 के गंभीर इन्फेक्शन से पूरी सुरक्षा देती है। रूस में हुए ट्रायल के अलावा, भारत में डॉ रेड्डीज ने भी फेज 2 और 3 के ट्रायल किए हैं।
’स्पूतनिक वी’ के फायदे क्या हैं?
- RDIF के अनुसार, उनकी वैक्सीन से कोई एलर्जी नहीं होती।
- एक डोज की कीमत 10 डॉलर से भी कम है।
- इस वैक्सीन की दो डोज में दो अलग-अलग तरह के वेक्टर्स का इस्तेमाल किया जाता है जो ऐसी ही तकनीक वाले टीकों के मुकाबले ज्यादा लंबे समय तक इम्युनिटी प्रदान करती हैं।
- यह वैक्सीन 18 साल से ज्यादा उम्र के लोगों के लिए है और इंजेक्शन के जरिए लगाई जाती है।
- एक डोज 0.5 ml की होती है और उनके बीच 21 दिनों का अंतर रखा जाता है।
भारत में कोविड-19 की तीसरी वैक्सीन होगी Sputnik V
‘स्पूतनिक वी’ भारत में कोरोना वायरस के खिलाफ इस्तेमाल की जाने वाली तीसरी वैक्सीन होगी। जनवरी में, ड्रग्स कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) ने दो टीकों- भारत बायोटेक की Covaxin और ऑक्सफर्ड-अस्त्राजेनेका की Covishield जिसे पुणे की सीरम इंस्टिट्यूट ऑफ इंडिया (SII) बना रही है, को आपातकालीन इस्तेमाल की मंजूरी दी थी।
भारत में मध्य जनवरी से कोविड टीकाकरण अभियान की शुरुआत की थी। हालांकि 18 साल से ज्यादा उम्र के लोगों के लिए वैक्सीनेशन खोलने के बाद वैक्सीन की शॉर्टेज की खबरें हैं। कुछ राज्यों में वैक्सीनेशन पर खासा असर पड़ा है। ऐसे में एक और वैक्सीन उपलब्ध होने से थोड़ी राहत मिलने की उम्मीद है।
Sputnik V को अप्रूवल देने वाला 60वां देश है भारत
रूस में बनी इस वैक्सीन को भारत से पहले 59 देश अप्रूवल दे चुके थे। इनमें अर्जेंटीना, बोलिविया, हंगरी, यूएई, ईरान, मेक्सिको, पाकिस्तान, बहरीन, श्रीलंका व अन्य शामिल हैं। एक तरह से देखें तो दुनिया की करीब 40 फीसदी आबादी की इस वैक्सीन तक पहुंच है। भारत इनमें सबसे ज्यादा आबादी वाला देश है।
भारत में बनेंगी ‘स्पूतनिक वी’ की 85 करोड़ डोज
भारत में हर साल इस वैक्सीन की 85 करोड़ डोज बनाई जाएंगी। RDIF ने ग्लैंड फार्मा, हेटेरो बायोफार्मा, पनाका बायोटेक, स्टेलिस बायोफार्मा समेत कई भारतीय कंपनियों से इसके निर्माण का सौदा किया है। हैदराबाद स्थित डॉ रेड्डीज लैब्स इस वैक्सीन की छोटी-छोटी खेप आयात कर सरकार को सप्लाई करेगी। जून-जुलाई तक वैक्सीन की लोकल सप्लाई उपलब्ध होने के बाद वैक्सीन का स्टॉक बढ़ने की संभावना है।