टीआरपी डेस्क। मनसुख मांडविया ने हाल ही में राज्यों और केंद्र शामिस प्रदेशों के स्वास्थ्य मंत्रियों और प्रतिनिधियों के साथ अहम बैठक ली। इस बैठक में कोरोना वैक्सीनेशन को लेकर पिछड़े जिलों में अगले महीने से डोर-टू-डोर टीकाकरण अभियान चलाया जाएगा। जानकारी के मुताबिक ये अभियान 2 नवंबर को लॉन्च किया जाएगा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री इस बैठक लिया, इस दौरान उन्होंने कहा की जहां वैक्सीनेशन को लेकर खराब प्रदर्शन देखने को मिला है। ‘हर घर दस्तक’ के नाम से चलाए जाने वाले डोर-टू-डोर अभियान को अगले महीने से शुरू किया जाएगा।


टीकाकरण अभियान को दिया यह नाम
जानकारी के मुताबिक मनसुख मंडाविया ने बैठक के दौरान कोविड टीकाकरण, प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत स्वास्थ्य अवसंरचना मिशन और आपातकालीन कोविड-19 प्रतिक्रिया पैकेज पर चर्चा की। उन्होंने कहा, कोई भी जिला पूर्ण टीकाकरण के बिना नहीं होना चाहिए। वैक्सीनेशन को लेकर खराब प्रदर्शन करने वाले जिलों में पूर्ण टीकाकरण की दिशा में डोर-टू-डोर टीकाकरण के लिए अगले एक महीने में “हर घर दस्तक” टीकाकरण अभियान चलाया जाएगा।
राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को दिया गया निर्देश
कोविशील्ड की पहली और दूसरी खुराक के बीच 12 सप्ताह का, वहीं कोवैक्सिन की दो खुराकों के बीच चार सप्ताह का अंतराल रखा जाता है। सूत्रों के अनुसार केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कई राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को पत्र लिखकर उनसे उन लाभार्थियों को दूसरी खुराक लगवाने को प्राथमिकता देने को कहा है जिन्होंने निर्धारित अंतराल समाप्त होने के बाद भी दूसरी खुराक नहीं ली है।

बताया जा रहा है कि कोविड-19 टीके की पहली खुराक ले चुके 11 करोड़ से अधिक लोगों ने दो खुराकों के बीच निर्धारित अंतराल समाप्त होने के बाद भी दूसरी खुराक नहीं लगवाई है। सरकार के आंकड़ों में यह बात सामने आई आंकड़े बताते हैं कि छह सप्ताह से अधिक समय से 3.92 करोड़ से अधिक लाभार्थियों ने दूसरी खुराक नहीं ली है। इसी तरह करीब 1.57 करोड़ लोगों ने चार से छह सप्ताह देरी से और 1.5 करोड़ से अधिक ने दो से चार सप्ताह देरी से कोविशील्ड या कोवैक्सिन की अपनी दूसरी खुराक नहीं ली है।
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