नई दिल्ली। भारत में कोरोना की चौथी लहर (Fourth wave of corona in India) की आशंका को देखते हुए गुरुवार को ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) के विशेषज्ञ पैनल ने 5 से 12 वर्ष की आयु के बच्चों के लिए कोर्बेवैक्स वैक्सीन (Corbevax) के इमरजेंसी इस्तेमाल की सिफारिश की है।

जिसके बाद अब केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की अंतिम मंजूरी से पहले वैक्सीन को डीसीजीआई की अनुमति का इंतजार है। फिलहाल यह वैक्सीन 12-14 साल के आयु वर्ग के बच्चों को लगाई जा रही है।

एक अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा कि है कि सीडीएससीओ की कोविड-19 विषय विशेषज्ञ समिति ने बायोलॉजिटकल ई के इमरजेंसी इस्तेमाल के आवेदन पर विचार-विमर्श कर पांच से 11 साल के बच्चों के लिए कोर्बेवैक्स को मंजूरी देने की सिफारिश की है।
हैदराबाद स्थित फर्म बायोलॉजिकल-ई की ओर से विकसित, कॉर्बेवैक्स कोविड-19 के खिलाफ भारत का पहला स्वदेशी रूप से विकसित आरबीडी प्रोटीन सब-यूनिट वैक्सीन है।
इस साल 16 मार्च से 12 से 14 साल के बच्चों को कॉर्बेवैक्स दिया जा रहा है। फिलहाल देश में इस समय 12 साल से अधिक उम्र के बच्चों को कोरोना की वैक्सीन लगाई जा रही है। कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को देखते हुए सरकार टीकाकरण अभियान में तेजी लाने का प्रयास कर रही है।