पिता का दिल तोड़… मगर जाते जाते दो लोगों को जिंदगी दे गया 16 माह का रिशांत

टीआरपी डेस्क। दिल्ली के जयप्रकाश नारायण के ट्रॉमा सेंटर (JPNATC) में इलाज के दौरान 16 माह के रिशांत की मौत हो गई। मगर जाते जाते उस नन्हें फरिश्ते ने दो लोगों को नई जिंदगी दे दी।

भले ही पिता का दिल तोड़ कर वह उनसे दूर चला गया है लेकिन रिशांत का दिल अब किसी अन्य के शरीर में धड़केगा। रिशांत के पिता ने भारी मन से अंगदान करने की अनुमति दे दी है। बता दें कि रिशांत को एम्स अस्पताल दिल्ली में मृत घोषित किया गया है।

मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली के जमुना पार्क में रहने वाला 16 माह का रिशांत खेलते खेलते गिर गया था। जिसके कारण बच्चे को गंभीर चोटें आई थी। आनन-फानन में पिता ने रिशांत को पास के अस्पताल इलाज के लिए ले गए। जहां बच्चे को JPNATC रेफर कर दिया। वहां से बच्चे को बेहतर इलाज के लिए परिजन एम्स अस्पताल लेकर पहुंचे। 24 अगस्त को डॉक्टरों ने उनके बेटे को मृत घोषित कर दिया।

बच्चे की मौत के बाद डॉक्टरों ने उसके पिता उपेंद्र व अन्य परिजनों की काउंसलिंग कर उन्हें अंगदान के संबंध में पूरी जानकारी दी। डॉक्टरों ने बताया कि रिशांत भले ही नहीं है मगर उसके अंग दो लोगों को जीवन दे सकेंगे। डॉक्टरों के समझाने पर पिता उपेंद्र ने अंगदान को मंजूरी दे दी।

रिशांत के पिता उपेंद्र ने बताया कि उन्हें लगातार पांच बेटियों के बाद आखिर में छठीं औलाद के रूप में रिशांत के रूप में मिली। जिसके लिए उन्होंने मन्नतें मांगी वहीं 16 माह की उम्र में उनका दिल तोड़ कर चला गया।

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