नया रायपुर: कलिंगा विश्वविद्यालय के सोमवार को राजनीति शास्त्र विभाग के द्वारा ‘‘केन सेंसरशिप इवर बी जस्टिफाईड’’विषय पर वाद-विवाद प्रतियोगिता का आयोजन किया गया।इस प्रतियोगिता में विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों के विद्यार्थियों ने हिस्सा लिया। इसमें विद्यार्थियों ने विषय के पक्ष एवं विपक्ष में अपने विचार व्यक्त किए।


इस अवसर पर विद्यार्थियों ने विषय के पक्ष पर दृढतापूर्वक बोलते हुए कहा कि किसी भी सभ्य समाज के सामाजिक एवं सांस्कृतिक मूल्यों को बचाए रखने के लिए सेंसरशिप आवश्यक है। जिससे आपत्तिजनक वस्तु और विचारों पर अंकुश लगाया जा सके। जबकि विषय के विपक्ष पर भी विद्यार्थियों ने उचित तर्क देते हुए कहा कि भारत के संविधान में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता प्रमुख नागरिक अधिकारों में निहित है।

सेंसरशिप के माध्यम से सच को दबाने की प्रवृत्ति बढती है और कभी-कभी सत्ताधारी दल इसका गलत फायदा भी उठाने से नहीं चूकते हैं। उन्होंने अपने तर्कों की पुष्टि के लिए प्रासंगिक तथ्यों को भी प्रस्तुत किया।
वाद-विवाद प्रतियोगिता में विश्वविद्यालय के प्रतिभागियों के द्वारा पक्ष-विपक्ष पर अपने मत रखे गए।

जिनका हिन्दी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. अजय शुक्ल और समाज कार्य विभाग के विभागाध्यक्ष श्री ए. के.कौल के द्वारा प्रतिभागियों के पक्ष-विपक्ष के विचारों का आकलन करते हुए प्रथम विजेता के रूप में हुनेश्वरी पैकरा (बीएजेएमसी पंचम सेमेस्टर), द्वितीय विजेता खुशी मिश्रा (बीए पंचम सेमेस्टर) और तृतीय स्थान पर मिताली ठाकुर (बीएएलएलबी तृतीय सेमेस्टर) को घोषित किया।


उक्त कार्यक्रम में कार्यक्रम का संचालन डॉ. विनीता दीवान ने किया। जबकि आभार एवं धन्यवाद ज्ञापन इस प्रतियोगिता की संयोजक डॉ. अनिता सामल ने किया। इस प्रतियोगिता में कला एवं मानविकी संकाय और विधि संकाय के 80 से अधिक विद्यार्थियों के साथ कला एवं मानविकी संकाय के प्रभारी अधिष्ठाता डॉ. ए. विजय आनंद- प्राध्यापक, श्री चंदन सिंह राजपूत, सुश्री पलक शर्मा, सुश्री श्रेया सिंह, श्री अब्दुल कादिर, डॉ. श्रद्धा हिरकने, श्री राजकुमार दास, सुश्री तुहिना चौबे, सुश्री गीतिका ब्रह्मभट्ट आदि विभाग के समस्त प्राध्यापक उपस्थित थें।