मथुरा। निजी अस्पतालों में मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं देने का दावा करने वाले अस्पतालों के दावे जांच के दौरान खोखले साबित हो गए हैं। उत्तर प्रदेश धार्मिक नगरी मथुरा के 69 हॉस्पिटल मानकों में फेल हो चुके हैं। इससे यह साबित हो गया है कि अस्पताल प्रबंधन द्वारा लोगों की सेहत के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है और शहर में नियमों को ताक पर रखकर तमाम हॉस्पिटल चलाए जा रहे हैं । एक तरफ जहां हॉस्पिटल संचालक सुविधाओं के नाम पर मरीजों के साथ छलावा कर रहे हैं, तो वहीं दूसरी तरफ इमरजेंसी के हालातों में निपटने के लिए भी हॉस्पिटल संचालकों के पास कोई आयाम नहीं है ।


शहर में बिना मानकों के चल रहे हॉस्पिटलों के ऊपर स्वास्थ्य विभाग और अग्निशमन विभाग के द्वारा जैसे ही कार्रवाई शुरू की गई । जिले भर के हॉस्पिटल संचालकों में हड़कंप मच गया । दरअसल स्वास्थ्य विभाग और अग्निशमन विभाग के द्वारा शहर के कई हॉस्पिटलों में औचक निरीक्षण किया गया ।

इस दौरान हॉस्पिटलों में फायर सेफ्टी से संबंधित कोई भी उपकरण ठीक नहीं पाया गया. विभाग को मथुरा के ओम हॉस्पिटल, विपिन हॉस्पिटल, अग्रवाल लाइफ लाइन के अलावा करीब आधा दर्जन हॉस्पिटलों में अनियमितता मिली हैं । इस संबंध में हॉस्पिटल के संचालक डॉ. विपिन से जब बात की तो पता चला कि हॉस्पिटल में 35 बेड हैं । हॉस्पिटल में अनियमितताओं को लेकर नोटिस दिया गया है तो उन्होंने कहा कि सुविधाओं को बेहतर करने के प्रयास किए जाएंगे ।