रायपुर। इंटरनेट के युग में हर हाथों में स्मार्टफोन है और हर कोई इंटरनेट का प्रयोग कर रहा है। डिजिटल के इस खेल में अधिकांश काम ऑनलाइन हो गया है। आसानी के चक्कर में हर कोई ऑनलाइन का सहारा ले रहा है। लेकिन यह सहारा कितना घातक है और कहां पहुंचा सकता है। इससे प्रयोग अनजान हैं। इसका लाभ उठाकर साइबर ठग नए-नए पैंतरे अपनाकर लोगों को अपना शिकार बना रहे हैं। ऐसे ही छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में साइबर ठगों ने कई लोगों को अपना शिकार बना लिया है।

दरअसल, ठगों ने एनर्जी कंपनी के नाम से मिलती जुलती नकली कंपनी बनाई। इसके बाद सोशल मीडिया में लोगों को जोड़कर पैसे डबल करने का झांसा दिया। आरोपी इतने शातिर हैं कि, ठगी के बाद आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) से वीडियो बनाकर खुद ही इसकी जानकारी भी दी। लोगों ने जब पैसा इनवेस्ट कर दिया, तो आरोपियों ने कंपनी को बंद कर दिया और पैसा लेकर फरार हो गए। फरार होने के दौरान आरोपियों ने तीन आर्टिफिशियल वीडियो बनाए। जिसमें कहा गया कि, आप लोग ठगे गए हैं। मुझपर भरोसा करने के लिए धन्यवाद। अब हम फरार हो रहे हैं।

अब हम भाग रहे
ठगी के बाद उसी ग्रुप में आरोपियों ने 3 वीडियो डाले। जिसे लड़की के चेहरे पर एआई से बनाया गया था। वीडियो में एक लड़की कह रही है कि मेरा नाम हेलेना है, मैं बहुत बड़ी फ्रॉड हूं और अब हम करोड़पति बन गए हैं। आपके पैसे लेकर हम फरार हो रहे हैं। वहीं एक और एआई वीडियो में यह कहा जा रहा है कि, मेरा नाम रुचिका का है और मैं गुरु हेलेना के नक्शेकदम पर चल रही हूं और आप से रोज मैं पैसे मंगाती हूं अब हम भाग रहे हैं, पुलिस अब हमारी तलाश करेगी।

पैसा डबल करने का झांसा देकर ठगी
ठगों के झांसे में आने वाले राजा तालाब निवासी शख्स ने नाम ना छापने की शर्त पर बताया, कि उन्हें परिचित के माध्यम से इस ऐप की जानकारी हुई थी। उन्होंने ऐप में पहले 40 हजार रुपए इनवेस्ट किया। पैसा इनवेस्ट करने के बाद उन्हें उनके वाट्सग्रुप में मैसेज आया, कि उन्हें 120 दिन तक 700 रुपए रोज मिलेगा। पैसा इनवेस्ट करते ही अगले दिन से उन्हें पैसा मिलना भी शुरु हो गया। 3 महीने तक उन्हें लगातार पैसा मिला। इसी बीच उनके वाट्सग्रुप में मैसेज आया। इसमें कंपनी ने इनवेस्ट करने के नाम पर एक दिन में पैसा डबल करने का ऑफर दिया। इस ऑफर को देखकर राजा तालाब निवासी ने लाखों रुपए इनवेस्ट कर दिए। पैसा इनवेस्ट करने के दिन कंपनी ने वाट्सऐप ग्रुप में वीडियो अपलोड किया और कंपनी बंद करके फरार हो गए।

अलग-अलग खातों का करते थे प्रयोग
पीड़ित ने बताया कि, उसके जैसे सैकड़ों लोग वाट्सऐप ग्रुप में जुड़े थे। कंपनी के लोग ग्रुप में चैट के माध्यम से चर्चा करते थे। उन्होंने हेल्पलाइन नंबर भी दिया था, जिसमें कंप्यूटराइज्ड बात होती थी। ठग पैसा इनवेस्ट कराने के लिए अलग-अलग खातों का प्रयोग करते थे। ये खाते अधिकांशता प्राइवेट लिमिटेड कंपनियों के होते थे। इसके बाद साइबर एक्सपर्ट टीम ने आरोपियों की कंपनी की जांच की। जांच के बाद साइबर एक्सपर्ट ने बताया कि, आरोपियों ने एंग्लो अमेरिकन नाम से डोमेन एक साल के लिए परचेज किया था। डोमेन तो एक साल के लिए परचेज किया, लेकिन आरोपियों ने तीन माह में उसे बंद कर दिया है। आरोपियों ने ऐप की सेटिंग से ऐसी छेड़छाड़ की है कि वो अब ओपन भी नहीं हो रहा है।

कई लोग हुए ठगी का शिकार
आरोपी ठगों के खिलाफ पीड़ित ने पुलिस में लिखित शिकायत दी है, लेकिन अधिकांश पीड़ित बदनामी के डर से अपना नाम सार्वजनिक नहीं कर रहे है। पीड़ितों के इस डर से इस तरह के आरोपियों के हौसले बुलंद है। पीड़ित का कहना है, कि उसके अलावा परिवार और रिश्तेदारी में कई महिलाओं ने भी पैसा मिलने के लालच में इनवेस्टमेंट कर दिया था। अब ठगी होने के बाद सब परेशान हैं।