बेमेतरा: छत्तीसगढ़ में बेमेतरा जिले में एक विधानसभा सीट हुआ करती थी.जिसे लोग मारो नाम से जानते थे. लेकिन साल 2008 में विधानसभा सीट का परिसीमन किया गया. जिसके बाद इस विधानसभा का नाम मारो से बदलकर नवागढ़ कर दिया गया.अनुसूचित जाति बाहुल्य यह क्षेत्र SC लिए आरक्षित है. पिछले चार विधानसभा चुनाव में इस सीट से तीन बार बीजेपी और एक बार कांग्रेस का कब्जा रहा है.इस सीट पर वर्तमान में कांग्रेस के गुरुदयाल सिंह बंजारे विधायक हैं.

परिसीमन के बाद बदले सियासी समीकरण :

नवागढ़ विधानसभा सीट का राजनीतिक इतिहास अपने आप मे रोचक रहा है. दरअसल राज्य बनने से पहले इस सीट पर कांग्रेस का राज हुआ करता था. लेकिन जैसे ही मध्य प्रदेश से अलग होकर छत्तीसगढ़ अलग राज्य बना. नवागढ़ क्षेत्र में भी सियासी समीकरण बदलने लगे. 2003 में जनता ने कांग्रेस छोड़कर बीजेपी पर भरोसा जताया.लगातार तीन बार दयालदास बघेल इस सीट से विधायक रहे.जिन्हें कैबिनेट मंत्री भी बनाया गया.

बीजेपी और कांग्रेस में कड़ा मुकाबला :

नवागढ़ विधानसभा सीट में परिसीमन के बाद अब तक तीन विधानसभा चुनाव हो चुके हैं. जिनमें से दो बार चुनाव बीजेपी के पक्ष में रहे हैं. वहीं 1 बार कांग्रेस इस सीट पर जीती है. बीजेपी और कांग्रेस के बीच कड़ी जंग में बसपा यहां तीसरे नंबर की पार्टी रही है. बीजेपी और कांग्रेस के अलावा नवागढ़ में बसपा पार्टी अस्तित्व में है. लेकिन कार्यकर्ताओं की कमी के कारण बीएसपी ने अपना जनाधार खो दिया है.इस बार भी सीधा मुकाबला कांग्रेस और बीजेपी से होगा.

मतदाताओं की स्थिति :

नवागढ़ विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 54 हजार 784 मतदाता है. जिनमें 1 लाख 29 हजार 254 पुरुष मतदाता हैं. वहीं 1 लाख 25 हजार 830 महिला मतदाता हैं. जातीय समीकरण की बात करें तो नवागढ़ विधानसभा क्षेत्र में अनुसूचित जाति के मतदाताओं की संख्या अधिक है. वहीं दूसरे नंबर पर साहू मतदाताओं की संख्या क्षेत्र में अधिक है.

मतदाताओं की स्थितिपिछले चुनाव के नतीजे :

2018-19 को नवागढ़ विधानसभा क्षेत्र में हुए चुनाव में कांग्रेस पार्टी के गुरुदयाल सिंह बंजारे को 86 हजार 779 मत और बीजेपी के दयालदास बघेल को 53 हजार 579 मत मिले थे. कांग्रेस प्रत्याशी गुरुदयाल सिंह बंजारे ने बीजेपी प्रत्याशी दयालदास बघेल को 33,200 मतों से मात दी थी.

नवागढ़ विधानसभा चुनाव के साल 2018 के नतीजेजानिए किन मुद्दों पर लड़ा जाएगा बेमेतरा विधानसभा का चुनावकिन मुद्दों पर लड़ा जाएगा चुनाव :

इस साल के अंत में छत्तीसगढ़ में चुनाव है. ऐसे में नवागढ़ विधानसभा में कई मुद्दे हैं जो हावी रहेंगे. इस विधानसभा में सिंचाई की पर्याप्त व्यवस्था ना होने से किसान परेशान हैं. नवागढ़ से नारायणपुर तक ड्राई जोन में आता है. इसलिए सिंचाई के साथ-साथ पेयजल की व्यवस्था अब तक नहीं हो पाई है.क्षेत्र में कृषि आधारित किसी भी तरह का कोई उद्योग नहीं है.शिक्षा की यदि बात करें तो कॉलेज और स्कूल की कमी है. विधानसभा में जर्जर सड़कें लोगों की तकलीफ बढ़ा रही हैं.

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