नई दिल्ली। कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने राजस्थान से आगामी राज्यसभा चुनाव के लिए बुधवार को यहां अपना नामांकन पत्र दाखिल किया। इसका मतलब यह है कि सोनिया गांधी इस बार लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगी.।ऐसे में रायबरेली लोकसभा सीट को लेकर चर्चा शुरू हो गई है। यह भी कहा जा रहा है कि प्रियंका गांधी को इस बार रायबरेली सीट से चुनाव मैदान में उतारा जा सकता है. इस बीच समाजवादी पार्टी नेता अखिलेश यादव ने यह कहकर विपक्षी गठबंधन की चिंताएं बढ़ा दी हैं कि रायबरेली कांग्रेस का गढ़ नहीं है ।
उत्तर प्रदेश की रायबरेली और अमेठी सीट पर गांधी परिवार का दबदबा रहा है. यहां से हमेशा इसी परिवार के सदस्य चुनाव लड़ते रहे हैं. लेकिन इस बार 2024 लोकसभा चुनाव में गांधी परिवार का कोई सदस्य यूपी से चुनाव लड़ेगा इसे लेकर असमंजस बना हुआ है । ऐसा इसलिए कहा जा रहा है क्योंकि सोनिया गांधी राज्यसभा जा रही हैं, राहुल गांधी के अमेठी से चुनाव लड़ने पर संशय है क्योंकि वो वायनाड से चुनाव लड़ेंगे, वहीं प्रियंका गांधी के चुनाव लड़ने पर सस्पेंस है ।

गांधी परिवार ने ख़त्म किया यूपी से रिश्ता?
ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि गांधी परिवार की गढ़ रही अमेठी और रायबरेली सीट पर कौन चुनाव लड़ेगा । खासकर रायबरेली में, क्योंकि 2019 में यही इकलौती सीट थी जिस पर कांग्रेस को जीत मिली थी. क़यास लग रहे हैं कि प्रियंका गांधी यहाँ से चुनाव लड़ती रही हैं । वो यूपी कांग्रेस की प्रभारी रही है और अमेठी और रायबरेली में काफ़ी एक्टिव भी रही है लेकिन प्रियंका फ़िलहाल चुनाव लड़ने के मूड में नहीं है ।
इसकी एक वजह ये मानी जा रही है कि यूपी में कांग्रेस का सगंठन बेहद कमजोर है । 2019 में राहुल गांधी अमेठी से हार गए थे. ऐसे में प्रियंका को जीत का भरोसा नहीं है ।
अपने गढ़ में चुनाव नहीं लड़ेगा गांधी परिवार
जानकारों का मानना है कि अगर गांधी परिवार से यहाँ कोई चुनाव नहीं लड़ता है तो यूपी में कांग्रेस का खाता भी नहीं खुल पाएगा । अगर रायबरेली और अमेठी से गांधी परिवार से कोई नहीं आता है तो उत्तर भारत में कांग्रेस राम भरोसे रहेगी क्योंकि वैसे भी यूपी में रायबरेली पर ही कांग्रेस का कब्जा था । रायबरेली सीट 66 साल कांग्रेस के पास रही है. 56 साल यहां से गांधी-नेहरू परिवार का सदस्य ही सांसद चुना गया है।
आजादी के बाद अब तक कांग्रेस सिर्फ तीन बार रायबरेली में हारी है. सोनिया के राज्यसभा जाने के फैसले से भी ये सवाल उठ रहा है कि क्या कांग्रेस को 24 में रायबरेली भी हारने का खतरा दिख रहा है. हालांकि कांग्रेस नेता यही कह रहे हैं कि सोनिया भले हैं राज्यसभा गई हैं कांग्रेस यूपी में मजबूती से चुनाव लड़ेगी. इधर प्रदेश में सपा और कांग्रेस में भी सीट शेयरिंग फाइनल नहीं हुई है । ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि रायबरेली और अमेठी से कांग्रेस का उम्मीदवार कौन होगा?