नई दिल्ली। कोलकाता के RG कर मेडिकल कॉलेज में 31 वर्षीय महिला डॉक्टर के साथ हुए बलात्कार और हत्या के मामले पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने गंभीर चिंता व्यक्त की है। उन्होंने इस घटना को घिनौना बताते हुए कहा कि इस प्रकार की घटनाएं अब बहुत हो चुकी हैं। वे इस पूरे मामले से गहरी निराशा और भय महसूस कर रही हैं। राष्ट्रपति ने स्पष्ट किया कि बेटियों के खिलाफ इस तरह के अपराध पूरी तरह से अस्वीकार्य हैं और समाज में इस प्रकार की घिनौनी घटनाओं के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए। यह पहली बार है जब राष्ट्रपति ने इस गंभीर घटना पर सार्वजनिक रूप से टिप्पणी की है। उनके बयान ने इस संवेदनशील मुद्दे पर गंभीरता और गहरी चिंता व्यक्त की है।

राष्ट्रपति ने अपराधिक मामलों पर चिंता व्यक्त की
राष्ट्रपति मुर्मू ने देश में महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों पर गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि कोई भी सभ्य समाज बेटियों और बहनों के साथ इस प्रकार के अत्याचार को सहन नहीं कर सकता। राष्ट्रपति ने उल्लेख किया कि हाल ही में कोलकाता में 31 वर्षीय डॉक्टर के साथ हुई घिनौनी घटना के खिलाफ छात्र, डॉक्टर और नागरिकों द्वारा विरोध प्रदर्शन किए गए, जबकि अपराधी खुलेआम घूम रहे थे। उन्होंने कहा कि अब यह काफी हो चुका है और समाज को इस स्थिति पर ईमानदारी से आत्मनिरीक्षण करने की आवश्यकता है।
बलात्कार और यौन उत्पीड़न जैसे मामलों पर सख्त कार्रवाई हो
राष्ट्रपति ने बलात्कार और यौन उत्पीड़न जैसी घटनाओं के खिलाफ सख्त कार्रवाई की आवश्यकता की बात की और इसे लेकर समाज के समक्ष गंभीर सवाल खड़े किए। उनके बयान ने इस मुद्दे पर एक स्पष्ट संदेश दिया कि इस प्रकार के अपराधों को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता।
पहले महिला ट्रेनी डॉक्टर के साथ किया रेप…
आपको बता दें कि यह मामला 8 से 9 अगस्त की देर रात का है जहां आरोपी संजय रॉय ने 31 साल की ट्रेनी महिला डॉक्टर के साथ पहले रेप किया और फिर मौत के घाट उतार दिया। जब उसके शव को देखा गया तो उसके शरीर से कपड़े गायब थे। खून बह रहा था। शरीर में गहरे चोटों के निशान थे। वहीं इस घटना के बाद, रेजिडेंट डॉक्टरों में गहरी नाराजगी फैल गई और उन्होंने विरोधस्वरूप हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया। पुलिस ने आरोपी संजय रॉय को गिरफ्तार कर लिया है। जैसे-जैसे मामला तूल पकड़ता गया, हाईकोर्ट ने इस मामले की जांच CBI को सौंप दी थी।
इसके बाद, सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले पर स्वतः संज्ञान लेते हुए CBI से अब तक की जांच की प्रगति रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद, सीबीआई ने अदालत में एक स्टेटस रिपोर्ट प्रस्तुत की, जिसमें जांच की वर्तमान स्थिति और प्रगति के बारे में विवरण दिया गया।