टीआरपी डेस्क। कर्नाटक के बेलगावी में आयोजित कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक विवादों में घिर गई है। इस बैठक से पहले लगाए गए पोस्टरों में भारत का ऐसा नक्शा दिखाया गया, जिसमें पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) गायब है। भाजपा ने इसे भारत की संप्रभुता और अखंडता का अपमान करार दिया है। कांग्रेस के इस पोस्टर को लेकर सोशल मीडिया पर बहस छिड़ गई है, और भाजपा नेताओं ने इसे राष्ट्रविरोधी बताते हुए प्रतिक्रिया दी है।

भाजपा का आरोप: देश की संप्रभुता से समझौता

भाजपा के आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने इस पोस्टर को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने जानबूझकर भारत का नक्शा गलत तरीके से पेश किया है। मालवीय ने इसे कांग्रेस की तुष्टिकरण और वोट बैंक राजनीति का हिस्सा बताया। उन्होंने कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया से इन पोस्टरों को तुरंत हटाने और दोषियों पर कार्रवाई करने की मांग की।

कांग्रेस के अधिवेशन पर विवाद

यह विवाद ऐसे समय में सामने आया है, जब कांग्रेस बेलगावी में अपने 1924 के ऐतिहासिक अधिवेशन की शताब्दी मना रही है। इस अधिवेशन की अध्यक्षता महात्मा गांधी ने की थी, जो उनके द्वारा संचालित एकमात्र कांग्रेस अधिवेशन था। इस अवसर पर कांग्रेस ने ‘जय बापू, जय भीम, जय संविधान’ जैसे नारों के साथ कार्यक्रम आयोजित किए हैं। लेकिन, इस विवाद ने इस आयोजन पर सवालिया निशान खड़ा कर दिया है।

भाजपा-कांग्रेस में तुष्टिकरण को लेकर तीखी बहस

भाजपा ने कांग्रेस पर तुष्टिकरण की राजनीति करने और राष्ट्रीय अखंडता के साथ समझौता करने का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि कांग्रेस अपनी वोट बैंक राजनीति के चलते देश की सीमाओं की अनदेखी कर रही है। वहीं, कांग्रेस ने इस विवाद पर अब तक कोई स्पष्ट बयान नहीं दिया है।
गांधीजी और बेलगावी का ऐतिहासिक महत्व

1924 में बेलगावी में आयोजित अधिवेशन भारतीय स्वतंत्रता संग्राम का एक ऐतिहासिक क्षण था। महात्मा गांधी ने पहली और आखिरी बार इस अधिवेशन की अध्यक्षता की थी। कांग्रेस ने इस आयोजन को यादगार बनाने के लिए बेलगावी क्षेत्र का नाम ‘महात्मा गांधी नगर’ रखा है। लेकिन, इस आयोजन के दौरान आए विवाद ने इसकी छवि पर नकारात्मक प्रभाव डाला है।

भाजपा नेताओं ने कांग्रेस से इस गलती के लिए सार्वजनिक माफी की मांग की है। उनका कहना है कि इस तरह के कृत्य देश की अखंडता के लिए खतरनाक हैं। भाजपा ने कांग्रेस से दोषियों पर सख्त कार्रवाई की मांग करते हुए इस विवाद को लेकर कांग्रेस की चुप्पी पर भी सवाल उठाए हैं।