रायपुर। राज्य की जांच एजेंसी ईओडब्लू की नजर अब शिक्षकों की अनुकंपा नियुक्ति किए गए भ्रष्टाचार पर है। हालांकि अनुकंपा नियुक्ति घोटाले की जांच के संबंध में जांच एजेंसी ने किसी तरह की पुष्टि नहीं की है।

बता दें कि 2020-21 में कोरोना संक्रमण की चपेट में आने से जिन शिक्षकों की मौत हो गई थी। उन शिक्षकों के परिजनों को अनुकंपा नियुक्ति दी गई है। इस अनुकंपा नियुक्ति में उच्च स्तर पर भ्रष्टाचार किए जाने के आरोप लगे थे।

ऐसे में जिन मृत शिक्षकों के परिजनों को अनुकंपा नियुक्ति दी गई है, ईओडब्लू ने शिक्षा अधिकारियों को नियुक्ति संबंधित सभी दस्तावेज देने को कहा है। दस्तवेजों की जांच के बाद जांच एजेंसी इस मामले में सख्त कार्रवाई कर सकती है।

जशपुर जिले के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में सहायक ग्रेड-2 पद पर पदस्थ बैजनाथ राम की कोरोना की चपेट में आने से मौत हो गई थी। शिक्षक की मौत के बाद उनके बेटे प्रेम कुमार ने आठ जून 2020 को अनुकंपा नियुक्ति के लिए आवेदन पेश किया। इसके बाद प्रेम कुमार को चार फरवरी 2022 को जशपुर जिला के भुड़केला में सहायक ग्रेड-3 के पद पर नियुक्ति दी गई।

बता दें कि इस मामले में आरोप है कि प्रेम कुमार ने शिक्षा विभाग को दिए गए आवेदन में अपने भाई मन कुमार के शासकीय सेवा में होने की जानकारी छिपाई। जिसके खुलासे के बाद शिक्षा विभाग ने प्रेम कुमार को बर्खास्त कर दिया और वेतन के रूप में दी गई राशि की वसूली करने निर्देश जारी किए थे।

विधानसभा में यह मामला गूंज चुका है। वहीं भारतीय जनता पार्टी ने बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार होने का आरोप लगाते हुए शिकायत भी दर्ज कराई थी।