टीआरपी डेस्क। छत्तीसगढ़ राज्य और ओडिसा राज्य की सीमा पर वन्य प्राणी एक पेंगोलीन की अवैध तस्करी में आरोपी डमरू भतरा को पेंगोलीन सहित गिरफ्तार कर लिया गया है। उक्त कार्रवाई कंजरवेशन केयर सोसायटी वाइल्ड लाइफ ट्रस्ट ऑफ इंडिया की सुश्री नीतू गुप्ता और वन विभाग की संयुक्त टीम द्वारा की गई।

खुद खरीददार बनकर ऐसे फंसाया आरोपी को

इस संबंध में अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्य प्राणी) अरूण पाण्डेय ने बताया कि सुश्री गुप्ता को छत्तीसगढ़-ओडिसा बार्डर में एक नग वन्य प्राणी पेंगोलीन को ओडिसा के गांव सरसोंपदर में तस्करी के लिए पकड़कर रखने की जानकारी मुखबीर से प्राप्त हुई। इसके आधार पर सुश्री गुप्ता द्वारा पेंगोलीन को क्रय करने के लिए स्वयं क्रेता बनकर मुखबीर के माध्यम से 13 लाख रूपए में छद्म सौदा किया गया।

टीम ने धनपुंजी गांव तक चलने को कहा

इस दौरान तय वार्ता के अनुसार सरसोंपदर गांव तक वाइल्ड लाइफ क्राइम कंट्रोल ब्यूरो जगदलपुर की टीम के आरक्षक विपिन चतुर्वेदी तथा वन परिक्षेत्र माचकोट के वनरक्षक जयदीप सिंह पहुंचे और आरोपी को धनपुंजी गांव तक चलने के लिए कहा गया।

एक आरोपी भाग निकला

इनमें अभियुक्तों डमरू भतरा और उसके साथी पाकलू द्वारा आगे जाने से मना करने पर टीम द्वारा मौके पर ही डमरू भतरा को पेंगोलीन सहित धर-दबोचा गया, किन्तु इसमें एक अन्य अभियुक्त पाकलू मोटर सायकल से भागने में सफल रहा। अभियुक्त डमरू भतरा ने अपना अपराध स्वीकार कर लिया है। जिस पर वन्य प्राणी संरक्षण के तहत अपराध दर्ज किया गया है। उक्त कार्रवाई में सुश्री नीतू गुप्ता के अलावा निरीक्षक देवेन्द्र सिंह राठौर, आरक्षक राजीव दीक्षित, आरक्षक विपिन चतुर्वेदी तथा पुलिस टीम जगदलपुर और वन परिक्षेत्र माचकोट के परिक्षेत्राधिकारी विनय चक्रवर्ती सहित विभागीय अमले का सराहनीय योगदान रहा।

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