रायपुर। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (Indian Medical Association) के देशव्यापी हड़ताल का असर राजधानी में भी देखने मिला। मेकाहारा के मेडिकल सभागार में डॉक्टर नेशनल मेडिकल कमीशन बिल 2019 (National Medical Commission Bill 2019) का जमकर विरोध कर रहे हैं। डॉक्टरों ने एनएमसी बिल (NMC Bill) के विरोध में परिसर में स्वस्थ व्यवस्था का अर्थी निकाल कर शास्त्री चौक पर पुतला फूंका है। इस विरोध प्रदर्शन में लगभग चार सौ से ज्यादा जूनियर डॉक्टर शामिल हुए।

जूनियर डॉक्टरों ने मेकाहारा नेशनल मेडिकल कमीशन बिल 2019 (National Medical Commission Bill 2019) के विरोध में रैली निकाली जिसमें जमकर नारेबाजी की गई। मेडुकल स्टूडेंटस (Medical Students) हंगामा करते हुए शास्त्री चौक पहुंचे जहां पर उन्होंने स्वास्थ्य व्यवस्था का पुतला शासन की बगैर अनुमति के दहन किया। मौके पर पहुंचे टीआई राहुल तिवारी ने बताया कि यहां पुतला दहन रैली की कोई परमिशन नहीं है बावजूद पुतला दहन किया गया। इस पर डॉक्टरों पर अपराध कायम किया जाएगा। आपको बता दें कि पिछले एक साल से देश भर में चिकित्सक एनएमसी बिल (NMC Bill) का विरोध कर रहे है। मगर उनकी मांगों पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।

 एनएमसी बिल को लेकर डॉक्टरों के प्रमुख सवाल

– Exit/Next कि देश भर में प्रेक्टिकल परीक्षा में एक रूपता कैसे रखी जाएगी?

– दूसरी बात इस परीक्षा में सफल नहीं होने पर क्या लायसेंस छिन जायेगा?

– किसी भी मेडिकल कॉलेज के निरीक्षण होने पर उसे अपात्र घोषित कर दिया जाता है तो पढ़ रहे विद्यार्थियों का क्या होगा? वर्तमान में छ.ग. में एक प्रायवेट मेडिकल कॉलेज की मान्यता 5 वर्ष पश्चात रद्द की गई है और विद्यार्थियों को पंजीयन/डिग्री नहीं मिल सकी है।

– धारा 32 में देश की गरीब जनता को दोयम दर्जे के चिकित्सक CHP के रूप में कराने का प्रावधान है।

– CHP क्यों नहीं ? (A) ये कानूनी झोलाछाप डॉक्टर बनेंगे। (B) इनकी शैक्षणिक योग्यता व पात्रता के बारे में बिल में कोई जिक्र नहीं है। (C) इनके कार्य की सीमाएं व निगरानी के लिए बिल में कोई प्रावधान नहीं है। (D) देश की गरीब जनता को झोलाछाप डॉक्टर देना तर्कसंगत नहीं है।

 

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