रायपुर। भाजपा नेता एवं पूर्व विधायक परेश बागबाहरा ने कांग्रेस की कार्यकारी राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी एवं पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहूल गांधी पर तीखा हमला बोला है। भाजपा नेता ने कहा कि सोनिया गांधी और राहुल गांधी स्पीक अप इंडिया अभियान के माध्यम से केन्द्र सरकार से जिन गरीबों के लिए दस हजार रुपये की तत्काल मदद एवं 7500/- रुपये प्रतिमाह, 6 महीनो तक राशि दिए जाने की माॅग कर रहे हैं, उसे वे तत्काल छत्तीसगढ़ मे लागू करा कर प्रदेश सरकार के खजाने से गरीबो को राशि दिलवाए। इसके साथ ही अन्य कांग्रेस शासित प्रदेश राजस्थान, पंजाब, पांडिचेरी महाराष्ट्र् मे भी लागू कराये तथा गरीबो की जरुरतो को पूरा करवाए।

उन्होने कहा कि, केन्द्र एवं राज्य सरकारें एक होकर भारत मे कोरोना महामारी को रोकने की पूरी कोशिश कर रहे है। हमारे कोरोना वारियर्स जान को जोखिम मे डालकर इस अभियान मे राष्ट्र् के साथ खडे है। वही कांग्रेस अब देश की संघात्मक व्यवस्था को छिन्न-भिन्न कर कोरोना काल मे अराजकता की स्थिति पैदा करने की कोशिश कर रही है।

परेश बागबाहरा ने कहा, कांग्रेस की इस गैर जिम्मेदाराना अभियान ने छत्तीसगढ़ प्रदेश के, हरेक के मन मे, झूठी कांग्रेस के परसेप्सन (अवधारणा) को मन की गहराई तक और ज्यादा मजबूत कर दिया है, क्योकि ‘‘गंगाजल की किरीया‘‘ खाने के बाद, अपने जन घोषणा पत्र मे लिए गए वादे 2500/- रुपये प्रति क्विंटल की दर से सोसायटी मे तुरंत भुगतान कर धान खरीदने, (लेकिन अब 4 किस्तो मे भुगतान किया जाएगा) दो वर्षो के धान का बोनस, शराब बंदी, 2500/- रुपये प्रतिमाह बेरोजगारी भत्ता, दस लाख बेरोजगारो को रोजगार देना, विधवा पेंशन एवं वृद्धा पेंशन राशि एक हजार रुपये प्रतिमाह, शहरी क्षेत्र मे आवासविहीन परिवार को 2 कमरों का मकान देना, नजूल भूमि कब्जाधारियो को भूमि पट्टा दिए जाने का वायदा किया लेकिन अब 50-50 लाख रुपये वसूली के नोटिस दिया जा रहा है। वहीँ रकम नही देने पर मकान तोड़ने की कार्यवाही की धमकी दी जा रही है, ऐसे अनेक वायदे में ये कांग्रेस सरकार अब सफेद झूठे साबित हो चुकी है।

उन्होंने प्रदेश सरकार से माॅग की है कि कोरोना के संक्रमण मे हुए भारी नुकसार की भरपाई हेतू खरीफ के धान को तीन हजार रुपये प्रति क्विंटल की दर से किसानो से खरीदें, ताकि तहस नहस हुई प्रदेश की ग्रामीण अर्थव्यवस्था को पटरी मे लाया जा सके, तथा अभी कोरोना काल मे किसानो को रबी के धान को लगभग 1200/- रुपये प्रति क्विंटल मे बेचने, से हुए भारी नुकसान की भरपाई की जा सके।