एक साल 13 दिन के बाद किसानों की घर वापसी का सिलसिला जारी, कुछ इस तरह दिखाई दे रहा सिंघु बॉर्डर का नजारा
एक साल 13 दिन के बाद किसानों की घर वापसी का सिलसिला जारी, कुछ इस तरह दिखाई दे रहा सिंघु बॉर्डर का नजारा

टीआरपी डेस्क। एक वर्ष 13 दिन बाद शनिवार को किसान आंदोलन समाप्त होने के बाद दिल्ली की सीमा पर एक साल से डटे किसान घर लौट रहे हैं। बॉर्डर से किसानों की घर वापसी का सिससिला गुरुवार शाम से शुरू हुआ था। इसके साथ ही बहुत से किसान शुक्रवार को लौट गए थे। वहीं, बाकी बचे किसान आज विजय रैली के बाद सिंघु बॉर्डर पर आंदोलन स्थल खाली कर रहें है।

इस वजह से जश्न नहीं मनाने का किया फैसला

किसान आज सभी मोर्चे हटा लेंगे और जश्न मनाते हुए जुलूस के रूप में वापसी करेंगे। इसके साथ ही सभी टोल प्लाजा भी मुक्त कर दिए जाएंगे। हेलिकॉप्टर हादसे में शहीद हुए सीडीएस जनरल बिपिन रावत की शुक्रवार को अंत्येष्टि होने के कारण किसानों ने इस दिन जश्न नहीं मनाने का फैसला किया था। सोमवार को पंजाब के किसान संगठन के नेता दरबार साहिब में माथा टेकेंगे। 15 जनवरी को संयुक्त किसान मोर्चा की बैठक होगी। इस बैठक में आंदोलन की समीक्षा होगी।

किसानों ने की धरना स्थल की सफाई

जिनके पास कम सामान थे वे संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा आंदोलन समाप्त करने की घोषणा के बाद ही दिल्ली की सीमा छोड़कर घर लौट गए। जिन किसानों ने ठहरने के लिए बड़े-बड़े मंच तैयार किए थे वे शुक्रवार को दिनभर सामान समेटते नजर आए। घर जाने से पहले किसानों ने धरना स्थल की सफाई की। सिंघू बॉर्डर से लेकर टीकरी बॉर्डर, बहादुरगढ़ बाईपास, नया गांव चौक और आसपास के इलाके में सफाई अभियान चलाया गया। जहां-तहां लगे कूड़े के ढेर को हटाया गया। किसानों ने बहादुरगढ़ और आसपास के गांवों के लोगों का भी सहयोग के लिए धन्यवाद दिया।

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