रायपुर। छत्तीसगढ़ भाजपा संगठन के प्रदेश नेतृत्व के बड़े चेहरों से पार्टी का जमीनी कैडर ना उम्मीद हो चुका है। पार्टी ने जिन लोगों को संगठन की बागडोर सौंपी है अब उन पर सवाल उठाने लगे हैं। पार्टी की बैठक में मुद्दों की बजाए संगठन के काम करने के तौरतरीकों पर ही ज्यादा बातें होने लगी है। पहले कार्यकर्ता अपनी अनदेखी का सवाल उठाते थे अब पूर्व विधायकों की नाराजगी भी सामने आने लगी हैं।
रविवार को प्रदेश भाजपा द्वारा 31 संगठन जिलों की सरल पोर्टल के बारे में प्रदेश भाजपा अध्यक्ष विष्णुदेव साय ऑनलाइन समीक्षा बैठक ले रहे थे। लेकिन, इस बैठक में अजय चंद्राकर पूर्व मंत्री वर्तमान विधायक और कोरिया जिला के पूर्व विधायक डॉ रमन सिंह की सरकार में पूर्व मंत्री भैया लाल राजवाड़े ने सरल पोर्टल के विषय से हटकर अलग ऐसा सवाल उठा दिया जिसने बैठक का विषय ही बदल डाला।
राजनांदगांव, कवर्धा का मामला उठा
प्रदेश भाजपा कार्यालय के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार 23 जनवरी को सरल पोर्टल में मतदान केंद्र स्तर तक जो सूची तैयार की गई है, उसे क्रमबद्ध किया गया है या नहीं। इस विषय में प्रदेश महामंत्री संगठन पवन साय ने बैठक आमंत्रित कर पूरी ब्रीफिंग ली, यह बैठक चल ही रही थी कि पूर्व मंत्री व विधायक अजय चंद्राकर ने अपनी बात रखते हुए कहा कि अगर सरल पोर्टल की बैठक का विषय समाप्त हो गया होगा, तो मैं कुछ बात रखना चाहता हूं।
जिसके बाद उन्होंने सीधे बोलना शुरु कर दिया। चंद्राकर ने तीखे लहजे में कहा कि कवर्धा जिले के पुलिस अधीक्षक ने नियम विरुद्ध जाकर राजनांदगांव के सांसद संतोष पांडे और पूर्व सांसद अभिषेक सिंह पर गंभीर अपराध भी दर्ज नहीं किए, बल्कि उनके फरार होने का आरोप लगाकर न्यायालय में चालान भी पेश कर दिया और समाचार पत्रों में भी इसे प्रकाशित करवा दिया। यह बहुत गंभीर मामला है, 2 दिन हो गए, प्रदेश भाजपा के कद्दावर नेता, प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष सहित प्रदेश भाजपा के पदाधिकारी और प्रदेश विधायक दल के नेता ने इस संबंध में कोई भी समाचार पत्र में और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में विरोध स्वरूप कोई बयान जारी नहीं किया है और कोई आपत्ति दर्ज नहीं कराई है।
अगर ऐसा ही चलता रहा तो जिला प्रशासन किसी भी कार्यकर्ता, किसी भी विधायक, किसी भी पूर्व विधायक, किसी भी पदाधिकारी को किसी भी मामले में गिरफ्तार कर कार्यवाही कर सकता है। प्रदेश संगठन को इसे संज्ञान में लेना चाहिए।
भैया लाल भी भड़क उठे
बताया जा रहा है कि, अजय चंद्राकर की बात समाप्त होते ही पूर्व मंत्री भैया लाल राजवाड़े ऑनलाइन बैठक में भड़क उठे और उन्होंने कहा कि कोरिया जिले में बिहारी गुंडे आए हुए हैं, उन्होंने मेरे परिवारिक सदस्य के बारे में अपशब्दों का प्रयोग किया उनके साथ मारपीट की गयी, मैंने जब इसका विरोध किया तो भाजपा के ही लोग, भाजपा के ही पदाधिकारी व्हाट्सएप ग्रुप और फेसबुक में मेरे ही विरुद्ध अभियान चलाने लग गये, ऐसे में इस पार्टी में काम करना बहुत मुश्किल हो जाएगा। पार्टी को इसे संज्ञान में लेना चाहिए।
सभी संगठनों जिलों में यही हाल
बैठक में दिखे पूर्व मंत्री अजय चंद्राकर और भैयालाल राजवाड़े के तेवर की संगठन के गलियारों में जोरदार चर्चा हो रही है। ज्यादातर जिलों के संगठन नेताओं का कहना है कि ऐसी बैठकें होती रहती है, जिलों की बैठक होती रहेंगी। लेकिन, इसका कोई परिणाम कभी नहीं आएगा, आज पूर्व मंत्री अजय चंद्राकर और भैया लाल राजवाड़े ने अपनी बात रखी, ऐसा पूरा हाल प्रदेश के 31 भाजपा के संगठन जिलों में हो चुका है ।
भाजपा सरकार में पदाधिकारी और कार्यकर्ता बहुत प्रताड़ित हुए हैं, किसी ने कोई संरक्षण समर्थन नहीं दिया। कार्यकर्ताओं का कहना है कि अगर अब भी भाजपा की कार्यप्रणाली नहीं बदली है, तो फिर परिणाम कैसे आएंगे। यह केंद्रीय नेतृत्व और प्रदेश नेतृत्व को सोचना है समझना और चिंतन मंथन करना है।