नई दिल्ली। नोएडा के सेक्टर 93 के सुपरटेक ट्विन टॉवर को कल गिराया जाएगा। टॉवर को गिराने से बचाने के लिए बिल्डर्स ने इलाहाबाद हाईकोर्ट से लेकर सुप्रीमकोर्ट तक लंबी लड़ाई लड़ी। इसके बावजुद वह इस टॉवर को गिराने से बचाने के लिए पैसा पानी कि तरह बहा चुके हैं। इन दोनों टॉवर को सुपरटेक बिल्डर ने बनवाया है। बता दें एक अपार्टमेंट की कीमत करोड़ों में है।

यह है मामला,

सुपरटेक लिमिटेड 7 दिसंबर, 1995 को निगमित किया गया था। और यह एक गैर-सरकारी कंपनी है। सुपरटेक के फाउंडर आरके अरोड़ा हैं। इन्होंने 34 कंपनियां खड़ी की हैं जिनमें सिविल एविएशन, कंसलटेंसी, ब्रोकिंग, प्रिंटिंग, फिल्म्स, हाउसिंग फाइनेंस और कंस्ट्रक्शन तक की अलग-अलग कंपनियां शामिल हैं। देश के 12 शहरों में सुपरटेक ने कई रियल एस्टेट प्रोजक्ट लॉन्च किए। नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल ने मार्च, 2022 में सुपरटेक कंपनी को दिवालिया घोषित कर दिया था। जिस पर अभी 400 करोड़ से अधिक का कर्जा है।

सुरक्षा का खास ख्याल रखा जाएगा,

आपको बता दें कि टॉवर्स को गिराने से पहले आसपास के इलाके की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। इंसानों के साथ साथ जानवरों का भी ख्याल रखा जा रहा है। सुपरटेक टावर्स के ढहने से निकलने वाला मलबा नोएडा में अलग-अलग जगहों पर ढेर किया जाएगा।

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