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रायपुर। राज्यपाल अनुसुईया उइके कुछ ही देर में दिल्ली रवाना हो रहीं हैं। 19 – 20 दिसंबर को उनका राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु, पीएम नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात का कार्यक्रम है। उनका 21 दिसंबर की रात लौटने का शेड्यूल है।

राज्यपाल के दौरे को पूर्व निर्धारित रूटीन बताया जा रहा है, मगर इस बार वे ऐसे समय में जा रहीं हैं, जब उनके और सरकार के बीच 76% के आरक्षण विधेयक को लेकर टकराव के हालात हैं। इस मुद्दे को लेकर दोनों पक्ष से फ़िलहाल बयानबाजी चल रही है।

राज्यपाल अनुसुइया उईके के दिल्ली दौरे पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा है कि जल्दी से उन्हें आरक्षण पर हस्ताक्षर करना चाहिए, अपने बात पर कायम रहना चाहिए। आरक्षण का लाभ छात्र, छात्राओं को और जो नौकरी में भर्ती होना चाहते हैं, उनको मिलना चाहिए‌। इसमें विलंब कतई उचित नहीं है।

गौरतलब है कि 19 सितंबर को हाईकोर्ट ने प्रदेश में लागू 58 प्रतिशत आरक्षण को असंवैधानिक बताते हुए इसे निरस्त कर दिया था। इसके बाद राज्य सरकार ने कुल 76 प्रतिशत आरक्षण देने का प्रावधान करते हुए विधानसभा में आरक्षण संशोधन विधेयक पारित किया है। हाई कोर्ट के पूर्व के फैसले को लेकर ही राज्यपाल सवाल उठा रहीं हैं कि पहले के आरक्षण के प्रतिशत को और भी बढ़ा दिए जाने के बाद कोई बाधा तो नहीं आएगी ?

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