अंबिकापुर। सरगुजा संसदीय सीट के गांव लहपटरा में एक ऐसा भी परिवार था, जिसके घर में मतदान के दिन मातम पसरा हुआ था। इस परिवार में मुखिया यानी पिता की उसके बेटे ने ही पीट-पीट कर हत्या कर दी। पुलिस आरोपी बेटे को सोमवार को गिरफ्तार कर चुकी है। एक ओर घर पर पिता का शव पड़ा हुआ था तो वहीं बेटा पुलिस कस्टडी में है। बावजूद इसके परिवार के सदस्यों ने मतदान करना बेहद जरूरी कार्य समझा। मन में पीड़ा और उदास चेहरों के साथ सुबह-सुबह मतदान केंद्र पहुंच कर इन सभी ने वोट किया।

ये है पूरा मामला?

लहपटरा में मूलसाय रजक का बेटा बंटी रजक नशे का आदी है। वोट से एक दिन पहले बंटी ने अपने पिता मूलसाय से शराब पीने के लिए पैसे मांगे। मगर नहीं मिलने पर बंटी गुस्से में आ गया और उसने अपने ही पिता की पीट-पीट कर हत्या कर दी। घटना की जानकारी मिलने के बाद पुलिस ने बंटी को गिरफ्तार कर लिया। आज मूलसाय के शव का पोस्टमार्टम होना था।

परिवार ने पहले मतदान किया…

घर पर मातम होने के बावजूद मूलसाय का परिवार मतदान की अपनी जिम्मेदारी को नहीं भूला और अंतिम संस्कार की प्रक्रिया से पहले वोट किया। परिवार वालों ने कहा कि लोकतंत्र के महापर्व मतदान में सभी की भागीदारी जरूरी है। मुखिया की हत्या हो गई है, लेकिन हमने मतदान किया है। परिजनों का कहना है कि पुलिस जांच और अंतिम संस्कार में व्यस्त हो जाने पर मतदान के लिए समय नहीं मिलेगा, इसलिए वे सुबह-सबेरे मतदान केंद्र पहुंच गए।

मतदान केंद्र में परिजनों को देख गांव वाले हुए हैरान

जब इस परिवार के सदस्य मतदान केंद्र पहुंचे तो वहां मौजूद लोग उन्हें देखकर अवाक रह गए। गांववालों को यकीन ही नहीं हो रहा था कि जिस परिवार के मुखिया की बेटे ने हत्या कर दी हो उस परिवार के सदस्य मतदान करने कैसे पहुंच गए। हालांकि गांव के लोगों ने इनकी भावनाओं का सम्मान किया और इनकी वोटिंग कराई।