नेशनल डेस्क। भारत ने एशियन चैंपियंस हॉकी ट्रॉफी में अपनी धाक जमाते हुए 5वीं बार खिताब पर कब्जा कर लिया। फाइनल मुकाबले में भारत ने चीन को 1-0 से मात दी। चौथे क्वार्टर में जुगराज द्वारा किए गए गोल ने भारत को बढ़त दिलाई, जिसे अंत तक कायम रखा गया। चीन ने आखिरी मिनट में पेनल्टी कॉर्नर के लिए रेफरल लिया था। लेकिन, उसका रेफरल खारिज हो गया और इस तरह भारत ने चीन को उसी के घर में हराकर एशियन चैंपियंस ट्रॉफी हॉकी टूर्नामेंट जीत लिया।
फाइनल के शुरुआती तीन क्वार्टर गोलरहित बराबरी पर रहे। चौथे क्वार्टर में जुगराज ने फील्ड गोल कर भारत को बढ़त दिलाई। हरमनप्रीत सिंह की अगुआई वाली भारतीय टीम ने दूसरा गोल नहीं दागा, लेकिन चीन को गोल करने का कोई मौका नहीं दिया। चीन ने चार पेनल्टी कॉर्नर भी हासिल किए, लेकिन भारतीय डिफेंस ने बेहतरीन प्रदर्शन किया और उन्हें गोल में बदलने का कोई मौका नहीं दिया।
कप्तान हरमनप्रीत सिंह भले ही इस मैच में गोल नहीं कर सके। लेकिन उन्होंने जुगराज को निर्णायक गोल दागने में मदद की। चीन के डिफेंस ने भी इस मैच में अच्छा प्रदर्शन किया और लंबे समय तक भारत को बढ़त लेने का कोई मौका नहीं दिया। चीन ने चार पेनल्टी कॉर्नर भी हासिल किए, लेकिन भारतीय टीम ने उसे गोल में तब्दील होने का कोई मौका नहीं दिया।
पहले क्वॉर्टर में कोई गोल नहीं
पहले क्वॉर्टर में दोनों टीमें कोई गोल नहीं कर पाई हैं। इसमें भारतीय टीम ने दो मौके गंवा दिए। टीम को दो पेनल्टी कॉर्नर मिले थे। 10 मिनट के अंदर कप्तान हरमनप्रीत सिंह लगातार दो पेनल्टी कॉर्नर को गोल में तब्दील नहीं कर पाएं। वहीं, चीन भी पेनल्टी कॉर्नर को गोल में नहीं बदल पाया।
भारत इस ट्रॉफी का 4 बार का चैंपियन है। भारत ने अपने पिछले मुकाबले में सोमवार को साउथ कोरिया को 4-1 से हराया। भारत की तरफ से हरमनप्रीत सिंह सबसे ज्यादा गोल करने वाले खिलाड़ी हैं। वह अब तक 7 गोल दाग चुके हैं। उनकी कप्तानी में टीम टूर्नामेंट के सभी मैच जीत चुकी है। वहीं, चीन को 5 में से 2 मैचों में ही जीत मिली है।
इससे पहले ग्रुप स्टेज में भारत ने चीन को 3-0 से शिकस्त दी। हार से भारत के पास मनोवैज्ञानिक बढ़त है। एशियन चैंपियंस ट्रॉफी में भारत और चीन के बीच अब तक 6 बार आमना-सामना हो चुका है। जिसमें भारत को 5 बार और चीन को एक बार जीत मिली।