रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा का मानसून सत्र के तीसरे दिन भी आज जबरदस्त हंगामा जारी है। प्रश्नकाल की शुरुआत में विधानसभा अध्यक्ष चरणदास महंत ने आसंदी से कल सदन की कार्यवाही का वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होने को लेकर अपना वक्तव्य दिया।

उन्होंने सदन की कार्यवाही का प्रसारण सोशल मीडिया पर वायरल किये जाने पर नाराजगी जताते हुआ इसकी पुनरावृति ना करने की बात कही। उन्होंने इसे विशेषाधिकार हनन भी माना। चरणदास महंत के इस वक्तव्य के बाद विपक्ष ने हंगामा शुरू कर दिया। सबसे पहले अजय चंद्राकर ने इस मामले पर आपत्ति जताते हुए कहा कि इस सदन से मुख्यमंत्री के संबोधन का प्रसारण भी सोशल मीडिया में वायरल हुआ है, उसे किसने वायरल किया। ये विशेषाधिकार हनन का मामला है,. इसलिए इस मामले में सदन की सभी कार्यवाही को रोककर तत्काल चर्चा कराने की मांग की। बाद में इस मामले में विधायक वृजमोहन अग्रवाल ने भी इस मामले में तत्काल चर्चा करने की मांग की। नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने भी इस मामले में तत्काल चर्चा करने की मांग की।

बाद में ये मामला सिंहदेव को लेकर हंगामा में बदल गया। टीएस सिंहदेव प्रकरण को संवैधानिक संकट बताते हुए कहा कि अब सदन के हालात ऐसे नहीं चर्चा करायी जा सके। क्योंकि खुद मंत्री को ही इस सरकार पर भरोसा नहीं रह गया है। बृजमोहन अग्रवाल ने कल टीएस सिंहदेव के सदन में वक्तव्य को पढ़कर सुनया। जिसके बाद फिर से सदन में गहमाृगहमी शुरू हो गई।

साथ ही मंत्री टीएस सिंहदेव सदन में नहीं पहुंचे हैं। विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने सवाल किया है कि मंत्री कहां हैं? विपक्ष इस मामले में सरकार से बयान की मांग कर रहा है। बता दें कि मंगलवार को मंत्री टीएस सिंहदेव सदन छोड़कर चले गए थे। उन्होंने साफ कहा था कि जबतक उनपर लगे आरोपों को लेकर सरकार अपनी स्थिति स्पष्ट नहीं करती है तब तक वे सदन में नहीं आएंगे।

बता दें कि कांग्रेस के ही एक विधायक बृहस्पति सिंह ने मंत्री टीएस सिंहदेव पर उनकी हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया है, इसी मामले में प्रदेश की सियासत गर्म है। हालांकि इस मामले में विधायक को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया गया है साथ ही उन्हें 24 घंटे की मोहलत भी दी गई है जिसके अंदर ही उन्हें अपना जवाब पेश करना होगा।

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